लोकसभा चुनावः इस बार मैदान में नहीं दिखाई देंगे बिहार के 5 वर्तमान सांसद सहित कई BJP नेता

punjabkesari.in Tuesday, Mar 19, 2019 - 04:30 PM (IST)

पटना/नई दिल्लीः देश में 17वीं लोकसभा के लिए होने वाले चुनाव में भाजपा बिहार में 17 सीटों पर चुनाव लड़ने जा रही है जहां सहयोगी दलों के लिए सीटें छोड़ने के कारण 5 वर्तमान सांसदों सहित पिछली बार उम्मीदवार रहे भाजपा के करीब दर्जन भर नेता चुनावी समर में नहीं दिखेंगे। 

BJP अपनी जीती हुईं सीटें सहयोगी दल को दे रही है 
पिछले चुनाव में जिन आठ सीटों पर भाजपा हारी थी, उसमें सिर्फ एक सीट अररिया ऐसी है, जिस पर इस बार भाजपा चुनाव लड़ रही है। उसकी हारी हुई अन्य सभी सात सीटें जदयू के खाते में जा रही हैं। भाजपा अपनी जीती हुई पांच सीटें गया, गोपालगंज, वाल्मीकिनगर, झंझारपुर और सीवान सहयोगी दल को देने जा रही है। वहीं पिछली बार भाजपा की जीती हुई नवादा सीट सहयोगी दल लोजपा के खाते में गई है। इस तरह भाजपा के पास 17 सीटों में 14 सीटें ऐसी हैं जिस पर उसके मौजूदा सांसद के ही चुनाव लड़ने की पूरी संभावना है। 

BJP की पांच वर्तमान सीट जदयू के हिस्से में गई 
राजग के घटक दलों में भाजपा की पांच वर्तमान सीट जदयू के हिस्से में चली गई। इसमें वाल्मीकिनगर शामिल है जहां से पिछली बार सतीश चंद्र दूबे भाजपा के टिकट पर विजयी हुए थे। उसी तरह झंझारपुर के सांसद वीरेन्द्र कुमार चौधरी जदयू से भाजपा में आकर चुनाव जीते थे पर वे भी भाजपा से चुनावी दौड़ से बाहर हो गए हैं। बसपा छोड़कर आने वाले गोपालगंज के सांसद बने जनक राम को भाजपा का टिकट नहीं मिलने वाला है। सीवान से ओम प्रकाश यादव और गया से हरि मांझी भाजपा के सांसद हैं और इस बार ये दोनों सीटें जदयू के खाते में चली गई है। 

जदयू के खाते में गई शाहनवाज हुसैन की सीट 
भागलपुर से चुनावी मैदान में उतरने वाले शाहनवाज हुसैन की सीट भी इस बार जदयू के हिस्से में चली गई। इसी तरह पिछली बार किशनगंज से हाथ आजमाने वाले डॉ. दिलीप जायसवाल की सीट भी जदयू के हिस्से में चली गई। कटिहार से भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ने वाले निखिल चौधरी, मधेपुरा के प्रत्याशी विजय कुशवाहा, सुपौल के कामेश्वर चौपाल और बांका से चुनाव लड़ने वालीं पुतुल कुमारी की सीट भी सहयोगी दल को चली गई है। 

BJP को तीन सीटों पर खोजने है नए उम्मीदवार 
भाजपा को 17 लोकसभा सीटों में से तीन सीटों पर ही नए उम्मीदवार खोजने की जरूरत दिख रही है। इनमें अररिया, पटना साहिब और दरभंगा सीट शामिल है। पटना साहिब सीट के मौजूदा सांसद शत्रुघ्न सिन्हा पार्टी से असंतुष्ट हैं जबकि दरभंगा के कीर्ति झा आजाद भाजपा से रिश्ता तोड़ चुके हैं। पटना साहिब से केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद के चुनाव लड़ने की अटकलें सबसे ज्यादा चल रही हैं।

prachi