यूपी में कांग्रेस को बड़ा झटका: 370 पर पार्टी के स्टैंड से खफा यूपी महासचिव एनपी सिंह ने दिया इस्तीफ
punjabkesari.in Wednesday, Aug 07, 2019 - 04:12 PM (IST)
लखनऊ: यूपी में कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। यूपी महासचिव एनपी सिंह ने पद और पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। सूत्रों के मुताबिक जम्मू कश्मीर से धारा 370 और धारा 35 ए हटाए जाने को लेकर पार्टी के स्टैंड से एनपी सिंह नाराज चल रहे हैं। बता दें कि इस मुद्दे को लेकर कांग्रेस के कई अन्य नेता भी पार्टी से नाराज चल रहे हैं जिसमें अनिल शास्त्री और ज्योतिरादित्य सिंधिया जैसे बड़े नेता शामिल हैं।
अनिल शास्त्री ने धारा 370 पर सरकार के फैसले का किया स्वागत
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी हिंदी विभाग के अध्यक्ष अनिल शास्त्री ने ट्वीट कर लिखा कि 'हमें धारा 370 के निरसन का समर्थन करना चाहिए क्योंकि यह जम्मू-कश्मीर को भारत के साथ पूरी तरह से एकीकृत करने की अनुमति देता है और देश और राज्य के लिए सही है। बेहतर होता कि भाजपा सरकार द्वारा इसके निरसन के लिए अधिक सहयोगी और परामर्शी दृष्टिकोण अपनाया जाता।' साथ ही उन्होंने अपने ट्वीट में कहा कि 'कांग्रेस को लोगों के मूड को समझना होगा और फिर एक स्टैंड लेना होगा। इस मुद्दे पर लोग पूरी तरह से सरकार के साथ हैं। हमने मंडल और यूपी और बिहार को खो दिया और भारत को खोने का जोखिम नहीं उठाना चाहिए।
धारा 370 पर लिए गए निर्णय का मैं पूर्ण समर्थन करती हूं: अदिति सिंह
ट्विटर पर अदिति सिंह ने हैशटैग आर्टिकल-370 के साथ 'यूनाइटेड वी स्टैंड, जय हिंद' लिखा। वहीं इस पर एक ट्विटर यूजर ने उनसे पूछा कि आप तो कांग्रेसी हैं। इस पर उन्होंने जवाब दिया, 'मैं एक हिंदुस्तानी हूं'। वहीं अदिति ने एक बयान में कहा कि धारा 370 पर लिए गए निर्णय का मैं पूर्ण समर्थन करती हूं। यह जम्मू-कश्मीर को मुख्यधारा में शामिल करने में मदद करेगा। इस मुद्दे का राजनीतिकरण नहीं करना चाहिए। साथ ही उन्होंने कहा कि यह मेरा व्यक्तिगत ओपिनियन है। मैं धारा-370 को हटाने के पक्ष में हूं। मैं ये मानती हूं कि इसके हटने से देश की सुरक्षा व्यवस्था पर फर्क पड़ेगा। अन्य राज्यों की तरह जम्मू कश्मीर को भी मुख्यधारा में लाने में आसानी रहेगी।
सरकार का जम्मू कश्मीर पर फैसला राष्ट्र हित में मैं समर्थन करता हूं-ज्योतिरादित्य सिंधिया
अनिल शास्त्री, ज्योतिरादित्य सिंधिया, अदिति सिंह के अलावा कई और भी ऐसे कांग्रेसी नेता हैं जिन्होंने सरकार के फैसले का स्वागत किया। ये बात और है कि उन्होंने मीडिय़ा में अपनी बात को नहीं रखा। देखना दिलचस्प होगा कि पार्टी के खिलाफ लिए गए अपने स्टैंड पर कांग्रेस इन नेताओं पर क्या कार्रवाई करती है?