Uttarakhand Election 2022: उत्तराखंड की सभी 70 सीटों पर वोटिंग खत्म, 5 बजे तक का 59.37% मतदान
punjabkesari.in Monday, Feb 14, 2022 - 08:35 PM (IST)
देहरादूनः उत्तराखंड में पांचवीं विधानसभा के लिए सोमवार को शाम 5 बजे तक 59.37 फीसदी मत पड़े। हरिद्वार जिले में सबसे अधिक 67.58 प्रतिशत और अल्मोड़ा जिले में सबसे कम 50.65 प्रतिशत मतदान हुआ। वहीं मतदान शांतिपूर्ण ढंग से समाप्त हो गया है।
सोमवार शाम 5 बजे तक देहरादून में 59.81 फीसदी मतदान हुआ है। सबसे ज्यादा विकासनगर में 69 फीसदी से ज्यादा और सबसे कम राजपुर में 54 फीसदी से कुछ अधिक मतदान हुआ है। राजपुर के साथ रायपुर में भी अमूमन यही स्थिति देखने को मिली। इसके अलावा अल्मोड़ा 50 फीसदी, बागेश्वर में 57.83 फीसदी, चमोली में 59.28 फीसदी, चंपावत में 56.97 फीसदी, देहरादून में 59.81 फीसदी, हरिद्वार में 67.58 फीसदी, नैनीताल में 63.12 फीसदी, पौड़ी में 51.93 फीसदी, पिथौरागढ़ में 57.49 फीसदी, रुद्रप्रयाग में 66.36 फीसदी, टिहरी में 52.66 फीसदी, ऊधमसिंह नगर में 65.13 और उत्तरकाशी में 65.55 प्रतिशत मतदान हुआ है।
पर्वतीय इलाकों में जल्दी दिन ढलने के बावजूद मतदाताओं को कतार में अपनी बारी का इंतजार करते हुए देखा गया। राज्य के कुल 81 लाख, 72 हजार, 173 मतदाताओं ने 11,697 मतदेय स्थलों पर अपने मत का इस्तेमाल किया। पहली बार गर्भवती महिलाओं, दिव्यांगों और वरिष्ठ नागरिकों को मतदान के लिए विशेष व्यवस्था की गई थी। कड़ी सुरक्षा के मध्य हो रहे मतदान में शान्ति एवं व्यवस्था का स्वयं मुख्य निर्वाचन अधिकारी सौजन्या ने जायजा लिया।
ऊंचाई वाले पर्वतीय क्षेत्रों में सुबह कड़ाके ठंड होने के कारण मतदान के लिए निर्धारित समय 8 बजे मतदाताओं की संख्या बहुत कम रही, जबकि मैदानी क्षेत्रों में 8 बजे से पहले ही मतदाता अपने मताधिकार का इस्तेमाल करने के लिए कतार में खड़े दिखाई दिए। मतदान केंद्रों पर कोविड के कारण सैनिटाइज करने, मास्क और ग्लब्स की समुचित व्यवस्था निर्वाचन आयोग द्वारा की गई थी। दिव्यांगों के लिए राज्य भर में 6 विशिष्ट बूथ बनाए गए, जिनमें सभी कार्मिक भी दिव्यांग थे। इसी प्रकार,महिलाओं के लिए सखी मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जिन पर महिला कार्मिकों की तैनाती की गई।
इस बीच, कुमाऊं क्षेत्र के भीमताल विधानसभा अन्तर्गत जोन तीन ओखलकांडा के बूथ संख्या 47 में पीओ-3 नवीन चंद्र जोशी को दिल का दौरा पड़ा, स्वास्थ्य दल मौके के लिए रवाना कर दिया गया। नरेंद्रनगर टिहरी में एक मतदाता का दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई।
कुमाली गांव निवासी वीर सिंह तोपवाल (67) मतदान करने के लिए चौंपा मतदान केंद्र पर जा रहा थे। पीड़ित जैसे ही मतदान केंद्र की सीढ़ी पर पहुंचा तभी अचानक से उसके सीने में दर्द उठने लगा। परिजनों के सूचना पर 108 सेवा मौके पर पहुंची और उन्हें उपचार के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया, जहां से डॉक्टरों ने उन्हें हायर सेंटर श्रीदेव सुमन संयुक्त चिकित्सालय रेफर किया, लेकिन श्रीदेव सुमन चिकित्सालय पहुंचने पर डॉ. शिवानी रमोला ने उन्हें मृत घोषित कर दिया।
स्वतंत्र और निर्भीक मतदान के लिए पीएसी की 23 कम्पनियां और सीआरपीएफ की 114 कम्पनियां तैनात की गई थी। इसके साथ ही, 36,095 राजपत्रित अधिकारी, उपनिरीक्षक, कांस्टेबिल, वन दरोगा, होमगार्ड की नियुक्ति की गई। राज्य को 276 जोन में बांटा गया है, जिनके अंतर्गत 1447 सेक्टर बनाए गए। राज्य में कुल 776 अति संवेदनशील पोलिंग बूथ चिह्नित किए गए, जबकि 1050 संवेदनशील बूथ। इसके अतिरिक्त, 173 स्पेशल ट्रबल एरिया के रूप में चिह्नित किए गए। पहली बार 310 शैडो पोलिंग बूथ भी बनाए गए थे।
वहीं उत्तराखंड की कुल 70 विधानसभा सीटों में से 5 विधानसभा खटीमा, लालकुआं, हरिद्वार, श्रीनगर और चकराता हॉट सीटों में शामिल थी। चुनावों में जिन महत्वपूर्ण उम्मीदवारों के राजनीतिक भविष्य का फैसला होना है, उनमें मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, उनके कैबिनेट सहयोगी सतपाल महाराज, सुबोध उनियाल, अरविंद पांडे, धन सिंह रावत और रेखा आर्य के अतिरिक्त भाजपा की उत्तराखंड इकाई के अध्यक्ष मदन कौशिक शामिल हैं। कांग्रेस के प्रमुख उम्मीदवारों में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत, पूर्व मंत्री यशपाल आर्य, कांग्रेस की उत्तराखंड इकाई के अध्यक्ष गणेश गोदियाल और विधानसभा में विपक्ष के नेता प्रीतम सिंह शामिल हैं।
बता दें कि साल 2017 के विधानसभा चुनाव में भाजपा ने 57, कांग्रेस ने 11 सीटों पर जीत दर्ज की थी, जबकि 2 सीटों पर निर्दलीय उम्मीदवार विजयी हुए थे।