जौनपुर में 150 बहनों ने जेल में बंद भाइयों के लिए भेजी राखी

punjabkesari.in Monday, Aug 03, 2020 - 12:17 PM (IST)

जौनपुरः कोरोना संक्रमण काल ने भाई-बहन के अटूट और अगाध प्रेम के प्रतीक पर्व रक्षाबंधन को भी प्रभावित किया है। यह पहला मौका होगा जब उत्तर प्रदेश में जौनपुर के जेल में बंद भाई की कलाई पर बहनें खुद भेंटकर राखी नहीं बांध सकी।

प्रभारी जेल अधीक्षक राजकुमार ने आज यहां कहा कि जेल प्रशासन के निर्देश के मुताबिक 150 बहनों ने अपने भाई के लिए लिफाफा बंद राखी व रोली भेजी है। अन्य बंदियों को मन मसोसना न पड़े, जेल प्रशासन इसके लिए भी अपने संसाधन से राखियों का इंतजाम किया है। उन्होंने कहा कि महानिदेशक (कारागार) ने पांच दिन पहले ही स्पष्ट कर दिया था कि कोरोना वायरस संक्रमण के मद्देनजर इस वर्ष बहनों को जेल में बंद भाइयों को रक्षाबंधन के दिन मिलकर राखी बांधने की इजाजत नहीं दी जाएगी। गाइड लाइन तय की थी कि जो बहनें जेल में बंद भाइयों को राखी पहुंचाना चाहती हों, वे लिफाफे में राखी व रोली रखकर भाई का नाम व बैरक नंबर लिखकर जेल प्रशासन को दो दिन पूर्व तक उपलब्ध करा सकती हैं।

उन्होंने बताया कि शनिवार की शाम मियाद खत्म होने तक ऐसे 150 बंदियों के लिए उनकी बहनें राखी व रोली रखें लिफाफे जेल प्रशासन को सौंप चुकी थीं। जेल प्रशासन ने इन लिफाफों को एक कार्टून में बहुत सलीके से रखवाने के बाद सैनिटाइज करा दिया है। सोमवार को रक्षाबंधन के लिए बहनों के लिफाफे उनके भाइयों को कलाई पर सजाने के लिए सौंप दी गयी । उन्होंने बताया कि 61 महिला बंदियों में से तीन के भाई भी हैं । जेल में जिला कारागार की बंदी क्षमता 320 है। रविवार को बंदियों की संख्या 1341 रही। इनमें 61 महिलाएं भी हैं। इनमें से तीन ऐसी हैं जिनके साथ उनके भाई भी जेल में बंद हैं। उन्हें जेल में भाई से मिलकर राखी बांधने की इजाजत दी गई है।


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Ajay kumar

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