नोटबंदी के 3 साल पूरेः व्यापारियाें ने बयां किया दर्द

punjabkesari.in Tuesday, Nov 12, 2019 - 03:02 PM (IST)

सहारनपुर: मोदी सरकार द्वारा की गई नोटबंदी को लेकर तीन साल पूरे हो चुके हैं।  जिसको लेकर बाजार के व्यापारियों का अलग-अलग मत है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 8 नवंबर 2016 को यानी 3 साल पहले नोटबंदी की घोषणा की थी, जिसमें 500 और 1000 रुपये के नोट को अमान्य घोषित कर दिया गया था। सरकार के इस फैसले के बाद से लोगों में तरह-तरह की चर्चाएं थी। नोटबंदी के तीन साल पूरे होने पर व्यापारियों ने बाजार के उतार-चढ़ाव को लेकर पंजाब केसरी टीवी से अपनी बातचीत को साझा किया।

बता दें कि तीन साल पहले यानी 8 नवम्बर 2016 को रात्रि 8 बजे देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा नोटबंदी की घोषणा की गई थी, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 500 और 1000 रुपए के नोटों पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया था। इसके बाद पूरे देश में नोटबंदी का सीधा असर बाजार पर पड़ा था। वहीं लोगों की लंबी-लंबी लाइनों में लगकर 500 और 1000 के नोटों को बदलवाना पड़ा था।

इसीक्रम में नोटबंदी के तीन साल पूरे होने पर पंजाब केसरी टीवी के संवाददाता ने लकड़ी की नकासी में प्रसिध्द सहारनपुर के व्यापारियों से बातचीत की तो सभी व्यापारियों का अपना अलग-अलग मत था। जिसमें कुछ व्यापारियों का कहना है कि नोटबंदी से बाजार पर कोई खास असर नहीं पड़ा तो वहीं कुछ व्यापारियों ने नोटबंदी को लेकर घोर निंदा भी की।  नोटबंदी को लेकर पुराने लकड़ी व्यापारी का कहना था कि नोटबंदी से पहले के दौर में और अब के दौर में काफी फर्क है। जहां साल में 400 करोड रुपए का टर्नओवर हो जाता था वहीं अब मात्र डेढ़ सौ करोड़ का टर्नओवर भी मुश्किल से हो पाता है।

वहीं कुछ लकड़ी व्यापारियों का यह भी कहना है कि नोटबंदी के बाद जीएसटी लगने से उनकी कमर पूरी तरह से टूट गई है। जहां ग्राहक करीब एक लाख का सामान खरीदने आता है उस पर जब 18 परसेंट की जीएसटी लगाई जाती है तो कस्टमर उससे घबरा कर सामान कम खरीद पाता है। व्यापारियों का यहां तक कहना है की अगर ऐसे ही चलता रहा तो उनको अपना कारोबार बदलकर कुछ और करना पड़ेगा।

 

Ajay kumar