अखिलेश सरकार के नए मंत्रियों ने सभी को चौंकाया

punjabkesari.in Saturday, Oct 31, 2015 - 02:51 PM (IST)

लखनऊ: मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और सपा सुप्रीमों की मौजूदगी में राज्यपाल राम नाईक ने शनिवार को राजभवन के प्रांगण में आयोजित एक भव्य समारोह में स्वतंत्र प्रभार के राज्यमंत्रियों अरविंद सिंह गोप, कमाल अख्तर तथा विनोद सिंह उर्फ पंडित सिंह को काबीना मंत्री के तौर पर शपथ दिलाई। इसके अलावा बलवंत सिंह रामूवालिया तथा साहब सिंह सैनी के रूप में नए मंत्रियों ने भी काबीना मंत्री की शपथ ली। मंत्रिमंडल में नए राज्यमंत्री के रूप में शामिल किए गए हेमराज वर्मा कार्यक्रम में उपस्थित न होने के कारण शपथ नहीं ले सके। अखिलेश के इस कैबिनेट में कई ऐसे चेहरे को शामिल किया गया है जिसने सभी को चौका दिया। 
 
1. रामूवालिया के चयन ने सबको चौंकाया-
हालांकि इस मंत्रिमंडल विस्तार में सबसे चौंकाने वाला नाम पंजाब के मोगा से आने वाले अकाली दल नेता बलवंत सिंह रामूवालिया का है। वह राज्य विधानमंडल के किसी भी सदन के सदस्य नहीं हैं। उन्होंने आज ही समाजवादी पार्टी का दामन थामा और साथ ही मंत्री पद भी ले गए। रामूवालिया को प्रकाश सिंह बादल का पुराना सहयोगी माना जाता है और केंद्र में मुलायम सिंह के रक्षा मंत्री रहने के दौरान कैबिनेट मंत्री भी थे।
 
2. अरविंद सिंह गोप-
अरविंद सिंह गोप का स्वतंत्र प्रभार से कैबिनेट मंत्री बनाया गया है। बीतों दिनों अरविंद सिंह गोप का पार्टी में कद बढ़ा है। गोप पार्टी ऑफिस में बैठकर लगातार सपा वर्करों से मिल रहे थे। इसका फायदा उनको मिला।
 
3.कमाल अख्तर-
अमरोहा के कमाल अख्तर राज्यमंत्री पहले से ही थे। इनका प्रमोशन काफी दिनों से भी रुका हुआ था। महबूब अली से अब माध्यमिक शिक्षा विभाग ले लिया है, ऐसे में पश्चिमी यूपी में मुस्लिम वोटरों को साधने के लिए कमाल अख्तर का कद बढाया गया है। कमाल सीएम अखिलेश की टीम के माने जाते हैं।
 
4.पंडित सिंह-
सीएम अखिलेश के नए कैबिनेट में गोंडा के पंडित सिंह विवादित चेहरा हैं। अभी हाल ही में उनका एक शख्स को धमकी देते हुए ऑडियो जारी हुआ था। गोंडा के कर्नलगंज से विधायक योगेश प्रताप सिंह को राज्य मंत्री बेसिक शिक्षा पद से बर्खास्त कर दिया गया। इसके बाद पंडित सिंह का कद बढ़ गया। इसका फायदा उन्हें मिला।
 
5.साहब सिंह सैनी-
साहब सिंह सैनी को राजेंद्र राणा के स्थान पर लाया गया है। सहारनपुर में सात विधानसभा सीट में से एक सीट ही सपा के पास थी। ऐसे में पश्चिमी यूपी में प्रतिनिधित्व के लिए राजेंद्र राणा को मंत्री बनाया गया था। उनकी मौत के बाद सहारनपुर से एमएलसी साहब सिंह सैनी को मौका दिया गया है।