लोकसभा चुनाव में पीतल उद्योग से जुड़े लोगों में मायूसी

punjabkesari.in Sunday, Apr 14, 2019 - 05:12 PM (IST)

मुरादाबाद(उत्तर प्रदेश): पीतल नगरी के नाम से मशहूर मुरादाबाद में इस उद्योग से जुड़े लोगों में मायूसी का आलम है। यहां 23 अप्रैल को लोकसभा चुनाव होने हैं, लेकिन चुनाव प्रचार के शोर के बावजूद पीतल उद्योग से जुड़े लोग अपने अपने कामों में व्यस्त हैं। उद्योग से जुड़े लोग 11 घंटे काम करते हैं और उनके सामने कोई विकल्प भी नहीं है। 

जीएसटी, नोटबंदी और कच्चे माल की बढ़ती लागत के कारण मुरादाबाद का प्रसिद्ध पीतल उद्योग संकट में घिर गया है। इसमें रोजगार भी कम हो रहे हैं। यह उद्योग करीब 7,000 करोड़ रुपये का है। एक अनुमान के अनुसार करीब 10 लाख लोग इस उद्योग पर निर्भर हैं। यह संख्या राजनीतिक दलों के लिए खासा महत्वपूर्ण है। इमरान नामक युवक इसी उद्योग में काम करता है। वह महान गायक मोहम्मद रफी के गाने गाता है और‘‘स्टार मेकर’’ नामक ऐप के माध्यम से अपनी गायन प्रतिभा को निखारने का प्रयास करता है। वह फेसबुक तथा व्हाट्सएप के जरिए देश से भी जुड़ा हुआ है।        

इमरान ने कहा, ‘‘मेरे पिता भी यही काम करते थे, अब मैं करता हूं। जीएसटी के बाद, कोयला और रेत जैसे कच्चे माल की लागत बढ़ गई है। लागत काटने के बाद हमें सिर्फ 300 रुपये मिलते हैं जबकि जीएसटी और नोटबंदी से पहले 500 रुपये मिलते थे।’’ उद्योग से जुड़े लोगों का कहना है कि आठ नवंबर, 2016 को जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी की घोषणा की, तो यहां के पीतल उद्योग के लिए एक यह महत्वपूर्ण मोड़ था। उन्होंने कहा कि उनका वोट इस बात पर निर्भर करेगा कि कौन सा उम्मीदवार उन्हें स्थिति में बदलाव के लिए पेशकश करता है। मुरादाबाद में कई छोटी इकाइयां चलाने वाले राहत अली अंसारी के अनुसार, विमुद्रीकरण के बाद मांग में करीब 50 प्रतिशत की कमी आई। इससे हजारों कारीगर बेरोजगार हो गए। कई लोगों ने वैकल्पिक आजीविका को अपना लिया जैसे ई-रिक्शा, खाना स्टॉल चलाना, सब्जी बेचना आदि।     

अधिकारियों का अनुमान है कि मुरादाबाद का पीतल उद्योग करीब 7,000 करोड़ रुपये का है। हालांकि, हाल के वर्षों में उद्योग में ऐसा कोई अध्ययन नहीं किया गया है। पीतल उद्योग मुख्य रूप से एक असंगठित क्षेत्र है जो निर्यातकों, कारखानेदारों (निर्यातक से काम लाने वाले लोग) और कारीगरों पर निर्भर है। सपा-बसपा-रालोद गठबंधन की ओर से यहां एस टी हसन मैदान में हैं। वह पूर्व मेयर और स्थानीय डाक्टर हैं। हसन भाजपा के मौजूदा सांसद कुंवर सर्वेश कुमार को चुनौती दे रहे हैं। कांग्रेस की ओर से इमरान प्रतापगढ़ी मैदान में हैं। इमरान युवा कवि हैं और विभिन्न मुद्दों पर अपनी कविताओं को लेकर वह सोशल मीडिया पर खासे चर्चित रहे हैं।         

Ruby