''लड़की हूं, लड़ सकती हूं'' का मजाक उड़ाने वाले भाजपा अध्यक्ष अपनी मानसिकता बदलें: कांग्रेस

punjabkesari.in Tuesday, Jan 04, 2022 - 06:02 PM (IST)

लखनऊ: कांग्रेस ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अध्यक्ष जे.पी. नड्डा पर नारी सशक्तिकरण के लिये पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा के नारे ‘लड़की हूं, लड़ सकती हूं' का मजाक उड़ाने का आरोप लगाते हुए मंगलवार को उन्हें अपनी मानसिकता बदलने की नसीहत दी।

कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने यहां संवाददाता सम्मेलन में आरोप लगाते हुए कहा, ‘‘भाजपा अध्यक्ष नड्डा ने सोमवार को लखनऊ में ‘लड़की हूं, लड़ सकती हूं' जैसे सशक्त नारे और उत्तर प्रदेश की महिलाओं की आवाज का उपहास उड़ाया। यह कांग्रेस की नहीं बल्कि उत्तर प्रदेश की हर उस लड़की की आवाज है जो अपने हक के लिए लड़ना चाहती है। इस सशक्तिकरण से आखिर नड्डा जी और उनकी पार्टी को क्या समस्या है? क्यों वह और उनकी पार्टी नारी शक्ति से इतना डरती है?'' श्रीनेत ने नड्डा पर निशाना साधते हुए कहा, ‘‘लड़कियां कुरीतियों के खिलाफ आप जैसी मानसिकता वालों से लड़ रही हैं। वे शिक्षा, परिवार और नौकरी के अवसरों में समानता के लिये लड़ रही हैं। भाजपा की मानसिकता है कि महिलाओं को एक शौचालय और एक गैस सिलेंडर तक ही सीमित रखा जाए। प्रियंका गांधी लड़कियों और महिलाओं के सशक्तिकरण की बात करती हैं, उनकी राजनीतिक भागीदारी और स्वावलम्बन की बात करती हैं। इससे भाजपा परेशान है।''

श्रीनेत ने भाजपा अध्यक्ष से सवाल पूछते हुए कहा, ‘‘क्या वह महिलाओं और लड़कियों को उनका हक देने को तैयार हैं? भाजपा बहुमत की सरकार चला रही है लेकिन वह सदन में महिलाओं के लिए 33 प्रतिशत आरक्षण की बात क्यों नहीं करती। कांग्रेस ने महिलाओं को आगामी विधानसभा चुनाव में 40 प्रतिशत टिकट देने और नौकरी में 40 फीसद भागीदारी देने का वादा किया है, लेकिन क्या भाजपा ऐसा करेगी?'' कांग्रेस प्रवक्ता ने नड्डा को अपनी ‘महिला विरोधी मानसिकता' छोड़कर महिलाओं की भागीदारी के लिये ठोस कदम उठाने की नसीहत देते हुए कहा ''अब बात शौचालय और गैस सिलेंडर पर रुकने वाली नहीं है। अब लड़कियां अपने अधिकारों के लिए जागरूक हो गई हैं और कांग्रेस उनके पक्ष में लड़ेगी।''

नड्डा ने सोमवार को लखनऊ में जनविश्वास यात्रा के समापन के दौरान कांग्रेस महासचिव प्रियंका पर निशाना साधते हुए कहा था, ‘‘'उत्तर प्रदेश में एक नयी नेत्री कहती हैं कि ‘लड़की हूं, लड़ सकती हूं।' लेकिन आपको तब शर्म क्यों नहीं आयी जब महिलायें खुले में शौच जाने के लिये विवश थीं? हमारी सरकार में 11 करोड़ से अधिक इज्जत घर (शौचालय) बने और महिलाओं को सम्मान के साथ जीने का अधिकार मिला।''

 


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Content Writer

Tamanna Bhardwaj

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