इटावा में जिला प्रशासन ने बाढ़ प्रबंधन योजना पर शुरू किया काम

punjabkesari.in Wednesday, Jul 03, 2019 - 01:38 PM (IST)

 

इटावाः उत्तर प्रदेश के इटावा जिले में प्रशासन ने बाढ़ से निपटने के लिए ‘बाढ़ प्रबंधन योजना 2019' तैयार कर ली है। जिला बाढ़ से प्रभावित नहीं है लेकिन फिर भी तटवर्ती इलाके यमुना व चंबल नदी में बाढ़ आने पर प्रभावित होते हैं।

जिला प्रशासन ने बाढ़ के दायरे में आने वाले 161 गांव चिन्हित किए हैं और 32 बाढ़ चौकियों की स्थापना कर एक सैकड़ा से अधिक अधिकारियों व कर्मचारियों की तैनाती भी की है। जिले की छह तहसीलों में नावों की भी अतिरिक्त व्यवस्था की गई है। जिले से होकर सात नदियां गुजरती हैं लेकिन मानसून के दौरान यमुना व चंबल नदी में जब भी डेम से पानी छोड़ा जाता है तो तटवर्ती क्षेत्र इनसे प्रभावित होते हैं।

आधिकारिक सूत्रों ने बुधवार को यहां बताया कि बाढ़ प्रबंधन योजना के तहत स्टियरिंग ग्रुप का गठन किया गया है। इस ग्रुप का अध्यक्ष जिलाधिकारी को बनाया गया है। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, जिला बाढ़ राहत अधिकारी, जिला कृषि अधिकारी, जिला पूर्ति अधिकारी, अधिशासी अभियंता प्रान्तीय खंड लोक निर्माण विभाग, अधिशासी अभियंता विद्युत वितरण खंड, अधिशासी अभियंता निचली गंगा नहर इटावा प्रखंड, अधिशासी अभियन्ता जलनिगम, अधिशासी अभियंता भोगनीपुर प्रखंड को सदस्य बनाया गया है।

उन्होंने बताया कि यमुना व चंबल नदी में जब चेतावनी का निशान पानी पार कर जाता है इसके बाद ही बाढ़ चौकियों को सक्रिय कर दिया जाता है। सबसे ज्यादा यमुना नदी से तटवर्ती क्षेत्रों के गांव प्रभावित होते हैं। जो गांव प्रशासन की ओर से चिन्हित किए गए हैं, उन गांवों की ओर प्रशासन का पूरी तरह से ध्यान रहता है।


 

Tamanna Bhardwaj