शारीरिक परीक्षा के दौरान मृत अभ्यर्थी के परिजनों को मुआवजा दे सरकार : चौधरी

punjabkesari.in Tuesday, Jan 21, 2020 - 09:44 AM (IST)

लखनऊ-राष्ट्रीय लोकदल (रालोद) उपाध्यक्ष जयंत चौधरी ने बरेली में शारीरिक परीक्षा के दौरान महिला अभ्यर्थी की मौत के मामले में पीडित के परिजनो को आर्थिक सहायता और नौकरी देने की मांग की है।

चौधरी ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को इस सिलसिले में एक पत्र लिखा है जिसमें कहा गया है कि दौड समाप्त करने के बाद दम टूटने से बागपत निवासी रामवीर की बेटी अंशिका की मृत्यु हो गयी थी। मृतका के परिजनों को आर्थिक मुआवजा देेने के साथ साथ परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने तथा घटना के दोषी अधिकारियों पर कार्यवाही की जाये। 

रालोद उपाध्यक्ष ने पत्र में कहा कि पुलिस भर्ती में शारीरिक परीक्षा के अंतर्गत दौड की दूरी को लेकर मुम्बई उच्च न्यायालय में 2015 में एक उच्च स्तरीय समिति गठित की गयी थी। इस समिति में मुम्बई के पुलिस महानिदेशक संजीव दयाल पुलिस कमिश्ननर राकेश मारिया एवं अतिरिक्त मुख्य सचिव (गृह) केपी बख्शी शामिल थे। समिति ने दौड़ की सीमा पुरूषों के लिए 5 किलोमीटर से घटाकर 1600 मीटर एवं महिलाओं के लिए 3 किलोमीटर से घटाकर 800 मीटर निर्धारित की थी। यदि महाराष्ट्र सरकार द्वारा लिये गये निर्णय का अध्ययन कर उसे समय रहते उत्तर प्रदेश ने भी अपनाया होता तो यह हृदय विदारक घटना नहीं घटती।

उन्होंने कहा कि भविष्य के लिए उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती में भी शारीरिक परीक्षा हेतु दौड़ की सीमा की द्दष्टि से उन मानदण्डों का सख्ती से अनुपालन किया जाये जो मुम्बई उच्च न्यायालय द्वारा गठित उच्च स्तरीय समिति ने निर्धारित किये हैं।

Ajay kumar