भयावहः धर्म के नाम पर अंधविश्वास का खेल, पूजा देख दहल जाएंगे आप

punjabkesari.in Saturday, Jan 18, 2020 - 12:43 PM (IST)

जौनपुरः आज भले ही हम विज्ञान के युग में हों, समाज में सब कितना भी पढ़ लिख लें मगर अंधविश्वास की मकड़जाल मजबूत होती जा रही हैं। ताजा मामला उत्तर प्रदेश के जौनपुर के बंदीपुर गांव का है। जहां धार्मिक अनुष्ठान में पुजारी ने ऐसी पूजा की जिसे देखकर आम लोग दहल जाएंगे, लेकिन परंपरागत श्रद्धालु पूरी आस्था और विश्वास के साथ पूजन अर्चन में बैठे रहे।

खौलते दूध में डालता है मासूम बच्चों के हाथ
बता दें कि पुजारी इस डरावनी पूजा में कभी खौलते दूध में छोटे बच्चों का नर्म हाथ डलवाता तो कभी खुद हाथ में लेकर श्रद्धालुओं पर फेंकता है। यहां तक की अपना सिर जलते कुंड में डाल देता। ये नज़ारा देख वहां बैठे भक्त जयकारे लगाते हैं। मगर धर्म के नाम पर मासूम बच्चों के साथ हो रही इस हैवानियत को रोकने की हिम्मत किसी में नहीं थी।

पूजा के दौरान गर्म दूध से पुजारी करता है स्नान
द्वापर युग में भगवान श्रीकृष्ण द्वारा शुरू की गयी कालिदास की पूजा आज भी पूर्वाचंल के जनपदों  में यादव समाज द्वारा की जा रही है। इस पूजा की शुरूआत से लेकर अंत कई बार पुजारी अग्नि परीक्षा देता रहता है। एक तरफ बड़े हवन कुण्ड में पांच यजमान दशांग डालते हैं तो पुजारी गर्म घी अपने हाथों से डालता है। बीच-बीच में तीन घड़े में खौलते हुए दूध को हाथ से निकालकर अपनी लाठी में लगाता है। तो  कभी खौलते दूध को श्रद्धालुओं के ऊपर उछाल देता है। पूजा के दौरान कई बार उसी गर्म दूध से स्नान भी करता है।

पुजारी पप्पू भगत का दावा है कि यह पूजा समाज, वातावरण, पशु-पक्षी के सुख समृद्धि और वायु प्रदूषण को संतुलित करने के लिए की जाती है। खौलते दूध में हाथ डालना,स्नान करना और हवन कुण्ड में पूरा सिर डालने के बाद भी वह पूरी सुरक्षित रहने के सवाल पर बताता है कि यह मातारानी की कृपा है।


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Ajay kumar

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