अनुष्का पांडे हत्याकांड में न्याय के लिए भूख हड़ताल खत्म, योगी सरकार ने लगाई CBI जांच पर मोहर

punjabkesari.in Wednesday, Sep 25, 2019 - 01:17 PM (IST)

मैनपुरीः मैनपुरी में जवाहर नवोदय विद्यालय में छात्रा अनुष्का पांडे द्वारा आत्महत्या मामले में जिला प्रशासन ने योगी सरकार से इस मामले की सीबीआई जांच की मांग की। जिसके चलते सरकार ने सीबीआई की जांच को लेकर मुहर लगा दी है। जिसके बाद मृतका के परिवार और जिला प्रशासन ने राहत की सांस ली।

भूख हड़ताल के बाद मिला CBI जांच का आश्वासन
बता दें कि मृतक छात्रा के परिजन जिला प्रशासन से सीबीआई जांच की मांग कर रहे थे, लेकिन जिला प्रशासन के कान पर जूं तक नहीं रेंगी। अथक प्रयासों के बाद अनुष्का के माता पिता अपने परिजनों के साथ नगर पालिका स्थित शहीद स्मारक पार्क में 2 दिन से अनिश्चितकालीन आमरण भूख हड़ताल पर बैठ गए। जिससे यह हड़ताल जिला प्रशासन की गले की फांस बन गई। क्योंकि अनुष्का के माता-पिता को कई राजनीतिक पार्टियों का भी समर्थन खुलेआम मिल रहा था।

मृतका के परिजनों को दिखाई की उम्मीद की किरण
राजनैतिक एवं 2 दिन से बैठे भूख हड़ताल पर माता पिता एवं ब्राह्मण समाज के दबाव में आकर आखिरकार जिला प्रशासन को सीबीआई जांच के लिए मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश से गुहार लगानी पड़ी। सीबीआई की जांच पर जब मुख्यमंत्री की मुहर लग गई तब कहीं डीएम मैनपुरी, पुलिस अधीक्षक के अलावा बीजेपी के जिला अध्यक्ष एवं अन्य कार्यकर्ताओं के अथक प्रयास के बाद भूख हड़ताल टूटी। वहीं जिला प्रशासन ने राहत की सांस ली। अब सीबीआई की निष्पक्ष जांच के बाद आरोपी जेल भेंजे जाएंगे। जिससे अब अनुष्का के माता पिता को न्याय की उम्मीद दिखाई दे रही है।

क्या है पूरा मामला?
बता दें कि मैनपुरी के जवाहर नवोदय विद्यालय में 16 वर्ष की एक छात्रा ने सुसाइड कर लिया। करीब तीन वर्ष पहले उस पर बिना पूछे किसी छात्रा की दालमोठ खाने का आरोप लगा था। सजा के तौर स्कूल की सभी 48 छात्राओं ने एक-एक थप्पड़ जड़कर उसे सामूहिक सजा दी थी। जिसके बाद वह परेशान रहती थी, आखिरकार उसने आत्महत्या का रास्ता अपनाया। इस मामले में स्कूल के प्रधानाचार्य पर कई धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है।

मृतका का इमोशलन सुसाइड नोट पढ़कर...
छात्रा ने मरने से पहले सुसाइड नोट भी लिखा जिसे पढ़कर किसी का भी कलेजा मुंह को आ जाए। छात्रा ने लिखा है कि मैं माता-पिता और भाई से बहुत प्यार करती हूं। मेरे सभी साथी बहुत अच्छे हैं। आठवीं में मुझसे एक गलती हो गई थी। तबसे लेकर अब मुझ पर कोई विश्वास ही नहीं करता। तब जो काम मैंने किया था, उसकी सजा मिल चुकी थी, लेकिन जो नहीं किया उसका भी आरोप लगता है। विद्यालय प्रशासन से मैंने इसको लेकर कई बार शिकायत की लेकिन, कुछ कोई सुनवाई नहीं हुई।




 

Tamanna Bhardwaj