Kashi: शिव के दरबार में शैव मठाधीशों ने लगायी हाजिरी, केन्द्रीय शिक्षा मंत्री ने किया स्वागत

punjabkesari.in Friday, Nov 18, 2022 - 10:21 PM (IST)

वाराणसी: काशी तमिल संगमम की पूर्व संध्या पर शुक्रवार को महादेव की नगरी वाराणसी दो संस्कृतियों के महामिलन से बम-बम हो गयी जब तमिलनाडु के शैव मठाधीशों (आधीनम) का काशी नगरी ने अपनी परम्पराओं के अनुरूप दिव्य-भव्य स्वागत किया। काशी आने के उपरांत सभी शैव मठाधीश सबसे पहले श्री काशी विश्वनाथ के दरबार में हाजिरी लगाने पहुंचे। सभी शैव मठाधीशों का स्वागत केन्द्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने किया। शैव मठाधीशों के आगमन पर नव्य-भव्य विश्वनाथ कॉरिडोर डमरुओं की डिम-डिम संग ‘हर-हर महादेव' के उदघोष से गूंज उठा।      
PunjabKesari
इस अवसर पर श्री प्रधान ने कहा ‘‘ नव्य-भव्य काशी विश्वनाथ कॉरिडोर में आप सबका स्वागत है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की निजी तौर पर यह इच्छा थी कि काशी तमिल के बीच जो ज्ञान और संस्कृति का संबंध रहा है उसे आज जन-जन के बीच पहुंचाने की जरूरत है। इसलिए काशी तमिल संगमम का यह आयोजन ऐतिहासिक होने जा रहा है। काशी और तमिल के बीच सदियों पुराने रिश्ते को नए सिरे से पुनर्जीवित किया जा रहा है। इस आयोजन के माध्यम से कवि सुब्रमण्यम भारती जी को सच्ची श्रद्धांजलि दी जाएगी।'' स्वागत से अभिभूत तमिलनाडु के धर्मगुरु गदगद हो उठे। सभी बाबा काशी विश्वनाथ के दिव्य ज्योर्तिलिंग का दर्शन कर अघा उठे। विधिवत दर्शन-पूजन के साथ ही सभी शैव मठाधीश काशी विश्वनाथ कॉरिडोर को देखा और इसकी अछ्वुत बनावट व सुंदरता पर मुग्ध हो गए। इस दौरान उन्होंने अतिसुंदर कॉरिडोर के लिए प्रधानमंत्री मोदी की मुक्तकंठ से प्रशंसा की।

उन्होंने कहा कि काशी तमिल संगमम के पुण्य योग के कारण ही काशी नगरी आने का अवसर प्राप्त हुआ। मां गंगा के तट पर बसी भगवान शंकर की यह नगरी अछ्वुत है। इसे जितना समझिए, जितना जानिए, उतनी ही उत्सुकता बढ़ जाती है। धर्मपुरम शैव मठाधीश के गुरु जी ने कहा कि छठवीं शताब्दी में उनके मठ के प्रतिनिधि काशी आए थे। धर्मपुरम आधीनम मठ और काशी का गहरा संबंध रहा है।


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Mamta Yadav

Recommended News

Related News

static