लोकसभा चुनाव: दलित वोट बैंक के सहारे सत्ता हासिल करने की तैयारी में सपा, अवधेश प्रसाद और राम सुमन लाल को बनाया चेहरा

punjabkesari.in Tuesday, Mar 21, 2023 - 01:21 PM (IST)

लखनऊ (अश्वनी कुमार सिंह): उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) में 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) ने तैयारियां शुरू कर दी है। अब सपा ने दलित वोट बैंक (dalit vote bank) पर ध्यान देना शुरू कर दिया है और इसके सहारे सत्ता हासिल करने की कोशिश करेगी। सपा का मानना है कि, दलित वोट बैंक उसके साथ जुड़ जाए तो 2024 में सफलता हासिल हो सकती है। इसी रणनीति के तहत समाजवादी पार्टी ने पुराने चेहरे अवधेश प्रसाद और राम सुमन लाल को चेहरा बनाया है।



बता दें कि, समाजवादी पार्टी ने 2022 विधानसभा चुनाव में भी यह एजेंडा अपनाया था। 2022 विधानसभा चुनाव से ठीक पहले लोहियावादियों व अंबेडकरवादियों को एक मंच पर लाने की शुरुआत की थी। डॉ. भीमराव अंबेडकर के सिद्धांत व सपनों को पूरा करने का वकालत करते हुए अंबेडकर वाहिनी की घोषणा की। इससे पार्टी वोटबैंक करीब 32 फीसदी तक पहुंच गया, लेकिन सत्ता से दूरी रही। अब सपा लोकसभा चुनाव में भी यही रणनीति अपनाने जा रही है। सपा दलित वोट बैंक पर ज्यादा ध्यान दे रही है और इससे ज्यादा से ज्यादा लोगों का समर्थन हासिल करने की कोशिश कर रही है। समाजवादी पार्टी पुरानी पीढ़ी के दलित नेताओं को साथ लेकर चल रही है और उन पर खास फोकस दिखा रही है।

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समाजवादी पार्टी ने कोलकाता में अपनी राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक की। जिसमें सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव के साथ अयोध्या निवासी अवधेश प्रसाद नज़र आएं। अवधेश प्रसाद पासी बिरादरी से और आगरा के रामजी सुमन जाटव हैं। इन दोनों जातियां दलित राजनीति में प्रभावी मानी जाती हैं। ये दोनों दलित नेता सपा के पुराने चेहरे हैं और मुलायम सिंह यादव के भी नजदीकी रहे हैं। यही नहीं, उन्होंने विपरीत परिस्थितियों में भी सपा का साथ नहीं छोड़ा। मुलायम सिंह के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहते वक्त भी ये दोनों राष्ट्रीय कार्यकारिणी में रहे। अब सपा ने फिर से इन दोनों नेताओं को चेहरा बना कर सत्ता हासिल करने की कोशिश में हैं।

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Pooja Gill