बनारस से कुत्ते के अंधे बच्चे को अपने घर ले आईं मेनका गांधी, कहा- नहीं होने दूंगी कोई कष्ट

punjabkesari.in Friday, Jan 15, 2021 - 01:03 PM (IST)

सुलतानपुर:  पूर्व केन्द्रीय मंत्री और सुलतानपुर की सांसद मेनका गांधी एक बार फिर पशु प्रेम के लिए सुर्खियों में हैं। उनका बेजुबानों से प्रेम जग-जाहिर है। तीन दिवसीय दौरे पर आई गांधी ने एक कुतिया के अंधे बच्चे को अपनाकर उसका नाम अहिल्या रखा है। सड़क पर घूमने वाले पशु को जब आम आदमी दुत्कार देता है। ऐसे में सांसद मेनका गांधी उसे भी अपना लेती हैं यह उनका स्वभाव है। अंधे कुत्ते के बच्चे को लेकर अब एक बार फिर वो सुर्खियों में आ गई हैं।

बता दें कि उन्होंने बनारस के एक कुत्ते के बच्चे को अपनाया है। मेनका गांधी सोमवार से अपने संसदीय क्षेत्र सुलतानपुर के तीन दिवसीय दौरे पर थी। इस बीच उनके पास बनारस के एक कुत्ते के बच्चे को लाया गया, जिसकी दोनों आंखें नही थी। जन्मजात अंधे होने के कारण लोग इसकी देखभाल करने में सक्षम नहीं दिखे। जब इन लोगों को जानकारी हुई की सांसद मेनका गांधी अपने संसदीय क्षेत्र सुल्तानपुर आ रही हैं तो बनारस के लोगों ने सीधे सांसद मेनका संजय गांधी से संपर्क किया और बताया कि मेरे पास एक अन्धा कुत्ते का बच्चा है और हम लोग उसकी देखभाल करने में असमर्थ है। मेनका ने अपने शास्त्रीनगर आवास का पता देते हुए उसे घर लाने को कहा । वो अपने संसदीय क्षेत्र में थीं ।

देर शाम जब गांधी सुल्तानपुर आवास पर पहुंची और बनारस से आये एक व्यक्ति ने कुत्ते के बच्चे को सांसद मेनका गांधी को दिया तो उनसे नही रहा गया और उसे उठाकर सांसद मेनका गांधी ने उसे अपनी शाल में लपेट लिया और प्यार - दुलार करने लगी। मेनका ने कहा भले अहिल्या की आँखे न हों लेकिन वे इसे दिल्ली अपने साथ रखेंगी और कोई कष्ट नही होने देंगी। गांधी ने रात में अहिल्या को अपने पास सुलाया। सांसद द्वारा बेजुबान के प्रति इस प्रकार का प्रेम , दुलार व अपनत्व की जगह-जगह सराहना की जा रही है।

Moulshree Tripathi