भाजपा को 16 सीटें जिताने में मायावती ने की मदद! वरना यूपी में 19 सीट पर ही सिटम जाती "NDA"
punjabkesari.in Thursday, Jun 06, 2024 - 02:24 PM (IST)
लखनऊ: लोकसभा चुनाव 2024 का नतीजा आ चुका है। भाजपा 240 लोकसभा सीटें जीती है। बहुमत से 32 सीट दूर रह गई, लेकिन सहयोगियों की सीटें मिलाकर एक बार फिर "NDA" की सरकार बनती हुई नजर आ रही है। बता उत्तर प्रदेश की करें तो यहां पर सपा- बसपा का बड़ा वोट बैंक रहा है। लेकिन इस लोकसभा चुनाव बसपा को करारी हार का सामना करना पड़ा जबकि समाजवादी पार्टी ने इस चुनाव 37 सीटें जीत कर इतिहास रच दिया है। हालांकि ये चुनाव बसपा के मंथन का विषय है।
यूपी में हार जीत के नतीजों पर बात करें तो मायावती ने भले ही लोकसभा चुनाव में एक सीट भी न जीत पाई हो उसके बावजूद भी बसपा ने 16 सीटें बसपा को जिताने में मददगार साबित हुई है। वरना यूपी में 19 सीटों पर ही "NDA" सिमट जाती है।
आंकड़े इस बात की दे रहे गवाही
उत्तर प्रदेश की इन 16 सीटें पर बसपा को बीजेपी और उसकी सहयोगी की जीत के अंतर से ज्यादा वोट मिले। इसमें से 14 सीटों पर बीजेपी ने जीत दर्ज की, जबकि 2 सीटों पर उसके सहयोगी ने जीत हासिल की। अगर ये सीटें इंडिया गठबंधन के खाते में चली जाती तो एनडीए का आंकड़ा 278 पर ही रह जाता। यूपी में बीजेपी के खाते में 33 सीटें आई हैं, अगर इन 14 सीटों पर उसे हार मिलती तो उसकी सीटों की संख्या 19 ही रह जाती है जो एक बड़ा झटका होता
1- भदोही लोकसभा सीट
यूपी की 80 लोकसभा सीटों में भदोही भी एक लोकसभा सीट है यहां पर इंडिया गठबंधन के उम्मीदवार ललितेश त्रिपाठी को 4.2 लाख वोट मिले, जबकि, जीत दर्ज करने वाले बीजेपी विनोद कुमार बिंद के खाते में 4 लाख 59 हजार 982 वोट आए, उन्होंने करीब 45 हजार वोटों से जीत हासिल की, तीसरे नंबर पर बसपा के हरिशंकर रहे, उन्हें 1 लाख 55 हजार वोट मिले, सोचिए अगर यही वोट इंडिया के ललितेश त्रिपाठी के खाते में पड़ते तो उनकी जीत हो जाती.
2-मिर्जापुर लोकसभा सीट
मिर्जापुर में अपना दल (सोनेलाल) की अनुप्रिया पटेल ने जीत हासिल की, उन्हें 4 लाख 71 हजार 631 वोट मिले। जबकि सपा के रमेश चंद बिंद को 4 लाख 33 हजार 821 वोट मिले। अनुप्रिया को करीब 38 हजार वोटों से जीत मिली। यहां पर तीसरे नंबर पर बसपा रही। मनीष कुमार के खाते में 1 लाख 44 हजार 446 वोट आए। बसपा के यही वोट सपा की तरह जाता तो बीजेपी हार जाती लेकिन ऐसा नहीं हुए जो बीजेपी से समर्थित उम्मीदवार अनुप्रिया पटेल की जीत में मददगार साबित हुई।
3- अकबरपुर लोकसभा सीट
हम बात अकबरपुर लोकसभा सीट की बात करें तो यहां पर बीजेपी के देवेंद्र सिंह को 5 लाख 17 423 वोट मिले, वहीं सपा के राजाराम पाल को 4 लाख 73 78 वोट हासिल हुए, तीसरे नंबर पर बसपा रही उसके खाते में 73 हजार 140 वोट आए, यानी यहां पर बीजेपी को जीत 44 हजार 345 वोटों से मिली, बसपा के वोट अगर सपा को कन्वर्ट होते तो बीजेपी की हार हो जाती, लेकिन यहां पर भी बसपा का कोर वोटर बसपा के साथ ही रहा जिस वजह से बीजेपी प्रत्याशी की जीत हुई।
4- अलीगढ़ लोकसभा सीट
अलीगढ़ में बीजेपी के सतीश गौतम को 501834 वोट मिले, वहीं सपा के बिजेंद्र सिंह को 486187 वोट मिले, तीसरे नंबर पर बसपा रही। उसके खाते में 123929 वोट आए। यहां पर बीजेपी को 15 हजार 647 वोटों से जीत मिली। यानी यहां पर भी अगर बसपा के वोट सपा को मिलते तो नतीजे बीजेपी के पक्ष में नहीं होते।
5- अमरोहा लोकसभा सीट
अमरोहा लोकसभा सीट पर बीजेपी प्रत्याशी कंवर सिंह तंवर ने 28 हजार 670 वोटों से जीत मिली। बसपा के खाते में 1 लाख 64 हजार 99 वोट आए। इसमें से अगर बसपा के 30 हजार वोट भी सपा को मिलते तो बीजेपी की हार तय थी। हालांकि इस सीट पर दानिश अली बसपा से ही सांसद थे, लेकिन उन्होंने बसपा को छोड़ कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा था। उन्हें 447836 कुल वोट मिले थे।
6- बांसगांव लोकसभा सीट
बांसगांव लोकसभा सीट पर भी हार जीत का फैसला बहुत कम वोट का रहा है। यहां पर बीजेपी प्रत्याशी कमलेश पासवान ने महज 3150 वोट से जीत दर्ज की थी। यहा पर उन्हें 428693 मिले थे जबकि समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी को 425543 वोट मिले थे यहां पर भी बसपा के ही वजह से बीजेपी प्रत्याशी को जीत मिली थी, बसपा उम्मीदवार को 64750 वोट मिले थे। अगर चार हजार वोट भी सपा की तरफ मुड़ जाता तो वहां पर बीजेपी की हार निश्चित थी।
7-बिजनौर लोकसभा सीट
बिजनौर लोकसभा सीट पर राष्ट्रीय लोकदल के खाते में गई थी यहां से जयंत ने चंदन चौहान को मैदान में उतारा था, चौहान को 37 हजार 508 वोटों से जीत दर्ज की यहां पर भी बसपा ने एक तरह से बीजेपी गठबंधन को जिताने में मदद की थी। क्यों कि यहां पर बसपा के खाते में 2 लाख 18 हजार 986 वोट पड़े जबकि सपा के खाते में 366985 पड़े थे यहां पर 37508 से हार का सामना करना पड़ा था।
8- देवरिया लोकसभा सीट
देवरिया लोकसभा सीट पर बीजेपी ने शशांक मणि को उम्मीदवार बनाया था यहां पर उन्होंने जीत दर्ज की लेकिन ये जीत महज 34,842वोटों से हुई थी। यहां पर भी सपा दूसरे नम्बर पर रही है। बहुजन समाज पार्टी के उम्मीदवार को 45564 वोट मिले थे यहां पर भी यदि 40 हजार वोट भी सपा की तरफ जाता तो यहां पर भी भाजपा को हार का सामना करना पड़ा लेकिन बसपा की वजह से यहां पर सपा को हार का सामना करना पड़ा।
9-फर्रुखाबाद लोकसभा सीट
फर्रुखाबाद लोकसभा सीट पर बीजेपी उम्मीदवार मुकेश राजपूत को महज 2678 वोट से जीत दर्ज की है। यहां पर बसपा के खाते में 45 हजार 390 वोट आए। बसपा का तीन हजार वोट भी सपा की तरफ हो जाता तो यहां पर समाजवादी पार्टी उम्मीदवार डा0 नवल किशोर शाक्य को जीत मिल जाती लेकिन 2678 वोटों से हार का सामना करना पड़ा।
10- फतेहपुर सीकरी लोकसभा सीट
इस लोकसभा सीट पर भी भाजपा उम्मीदवार राजकुमार चाहर को महज 43,405 वोट से बीजेपी को जीत मिली है। यहां पर इंडिया गठबंधन से उम्मीदवार रामनाथ सिंह सिकरवार को हार का सामना करना पड़ा। उन्हें 402252 वोट मिले। बहुजन समाज पार्टी उम्मीदवार पं० रामनिवास शर्मा को कुल 120539 मिले यहां पर अगर 50 हजार वोट
11- मेरठ लोकसभा सीट
उत्तर प्रदेश की मेरठ जिले की लोकसभा सीट पर भी बीजेपी ने मामूली वोट से जीत दर्ज की है। यहां पर बीजेपी को जिताने में बसपा की अहम भूमिका रही है। यहां पर सपा उम्मीदवार सुनीता वर्मा को 10585 वोटों से हार का सामना करना पड़ा। यहां पर बसपा को 87025 वोट मिले यहां पर 11 हजार के आसपास वोट मिला जाता तो जीत हो जाती।
12- हरदोई में बीजेपी ने 27 हजार 856 वोटों से जीत दर्ज की. बसपा उम्मीदवार को 1 लाख 22 हजार 629 वोट मिले.
13- मिर्जापुर में बीजेपी की सहयोगी को 37 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा को 1 लाख 44 हजार वोट मिले,
14- मिसरिख में बीजेपी ने 33 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा को 1 लाख 11 हजार 945 वोट मिले.
15- फूलपुर में बीजेपी ने 4 हजार 332 वोटों से जीत दर्ज की. बसपा के खाते में 82 हजार वोट आए.
16- शाहजहांपुर में बीजेपी ने 55 हजार वोटों से जीत हासिल की. बसपा को 91 हजार वोट मिले.
17-उन्नाव में बीजेपी को 35 हजार वोटों से जीत मिली. बसपा के खाते में 72 हजार 527 वोट पड़े।