अपनी बिरादरी पर बयान देकर निशाने पर आए मंत्री संजय निषाद, समर्थक बोले- जिस थाली में खाया, उसमें कर रहे हैं छेद

punjabkesari.in Friday, Nov 11, 2022 - 03:51 PM (IST)

गोरखपुरः निषाद पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और योगी सरकार में मंत्री डॉ. संजय निषाद अपनी बिरादरी पर दिए एक बयान को लेकर घिर गए हैं। दरअसल, उन्होंने अपनी ही जाति पर चुनावी दौर में पौव्वा और पाउच पर बिक जाने का बयान दिया था। इस पर निषाद समाज के लोगों ने मंत्री संजय निषाद के इस बयान पर आपत्ति जताते हुए माफी मांगने की मांग की है।

समाजवादी पार्टी के पूर्व जिला अध्यक्ष व अधिवक्ता नगीना प्रसाद साहनी ने डॉ. संजय निषाद के इस बयान को निषाद बिरादरी को अपमानित करने वाला बताया है। उन्होंने कहा कि जिस निषाद जाति के बल पर संजय निषाद और उनके पूरे परिवार को राजनीतिक पहचान और ताकत मिली है। उस बिरादरी को डॉ. निषाद अपने ऐसे बयान के माध्यम से अपमानित कर रहे हैं, न कि सम्मानित। उनके इस बयान पर यही कहा जा सकता है कि डॉ. निषाद जिस थाली में खाते हैं, उसी में छेद कर रहे हैं।

नगीना ने कहा कि गोरखपुर क्षेत्र के निषाद समाज के लोगों ने अगर पौव्वा और पाउच पर बिक कर चुनाव में अपना मतदान किया होता। तो यहां से लालचंद निषाद, राम भुवाल निषाद, जयप्रकाश निषाद, राजमती निषाद, जमुना निषाद और यहां तक की डॉक्टर संजय निषाद के पुत्र प्रवीण निषाद सांसद और दूसरे बेटे सरवन निषाद विधायक नहीं चुने गए होते। उन्होंने आगे कहा कि डॉ. निषाद अपने बयानों पर रोक लगाएं। बिरादरी को अपमानित करना बंद करें, नहीं तो निषाद समाज उनके खिलाफ उठ खड़ा होगा और उनके खिलाफ वाद भी दाखिल किया जा सकता है।

गौरतलब है कि संजय निषाद ने कहा था कि निषाद जाति के लोग चुनाव के दौरान विभिन्न राजनीतिक दलों के प्रलोभन में आ जाते थे. वह अपना वोट पैसा, पौउवा, पाउच यानी कि शराब पर दे देते थे. जबकि उन्हें कोई अधिकार और पहचान भी नहीं मिलता था. उन्होंने कहा थी कि वह निषाद पार्टी बनाने के साथ निषादों को संवैधानिक अधिकार मिले इसकी लड़ाई लड़ रहे हैं. उन पर लगे पौव्वा और पाउच के लेवल से उन्हें बाहर निकाल रहे हैं.

Content Writer

Tamanna Bhardwaj