Mirzapur News: मां विंध्यवासिनी मंदिर का हुआ शुद्धिकरण, गंगाजल से हुई धुलाई; तंत्र क्रिया से दुष्ट आत्माओं से मिलती है मुक्ति

punjabkesari.in Wednesday, Apr 24, 2024 - 05:23 PM (IST)

Mirzapur News: उत्तर प्रदेश में मिर्ज़ापुर के विंध्याचल में स्थित जगत जननी मां विंध्यवासिनी मंदिर का आज शुद्धिकरण किया गया। आज के दिन भक्त यहां हाथों में फूल माला की जगह नए घड़े में गंगा जल भर कर पहुंचते है, पूरे मंदिर परिसर की गंगाजल से धुलाई की जाती है। यह परंपरा हजारों वर्षो से चली आ रही है।

मिर्ज़ापुर में स्थित माँ विंध्यवासनी दरबार में आज के दिन अनोखा उत्सव मनाया जाता है। इस उत्सव को घटाभिषेक के साथ-साथ वार्षिक पूजन भी कहा जाता है। दरअसल, नवरात्रि मेले के दौरान प्रतिदिन लाखों की संख्या में भक्त मां की पूजा अर्चना करने आते हैं। इस दौरान तंत्र,  मंत्र और अपनी परेशानियां तथा बुरी आत्माओं को यहीं पर छोड़ जाते हैं। नवरात्रि के बाद वैशाख मास की प्रतिपदा तिथि पर आज पूजा पाठ और तंत्र-मंत्र में आहुत दुष्ट आत्माओं को यहां से हटाने के लिए पूरे विंध्यवासिनी धाम की गंगाजल से धुलाई की गई। यहां पर यह परंपरा सदियों से चली आ रही है।

आज के दिन विंध्याचल के हजारों लोग घर से घड़ा लेकर गंगा तट पर पहुंचते हैं। जहां पर स्नान के बाद वह घड़ा में पानी लेकर मंदिर पर पहुंचते हैं। इसके बाद घड़े के पानी के साथ माँ विंध्यवासिनी का दर्शन कर उसी पानी से पूरे मंदिर की धुलाई की जाती है। विंध्य पंडा समाज के सनीदत्त पाठक ने बताया कि यह परंपरा कई वर्षों से चली आ रही है, जहां न सिर्फ पंडा समाज बल्कि विंध्याचल बस्ती के लोग भी मिलकर गंगाजल से मंदिर की धुलाई करते हैं। 

गौरतलब है कि आज के दिन हर भक्त मंदिर में घड़े के साथ पहुचता है। गंगा स्नान कर घड़ा में गंगा जल लेकर मंदिर पहुंचा है। जिसे घड़ाभिषेक भी कहते हैं। घड़ाभिषेक के बाद मंदिर में माँ का विशेष श्रृंगार किया जाता है। भक्ति मन किया दर्शन कर भाव विभोर होते हैं और अपनी मनोवांछित फल को प्राप्त करते हैं।

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Mamta Yadav