UP News: इस जिले के बच्चों को शिक्षा के साथ दिया जा रहा मशरूम की खेती का प्रशिक्षण, जानें क्या है वजह

punjabkesari.in Wednesday, Feb 08, 2023 - 05:07 PM (IST)

हमीरपुर (रवींद्र सिंह): उत्तर प्रदेश के हमीरपुर (Hamirpur) जिले में स्थित एक स्कूल से अनोखा मामला सामने आया है। जहां के बच्चों को शिक्षा के साथ-साथ मशरूम (Mushroom) की खेती करने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसी को लेकर इन दिनों जिले का यह स्कूल सुर्खियों में बना हुआ है। जहां से आए दिन तरह-तरह के वीडियो और फोटो वायरल हो रही हैं।

जिससे कहीं न कहीं शिक्षा विभाग पर तमाम सवालिया निशान खड़े हो रहे हैं। लेकिन अभी भी कुछ विद्यालय ऐसे हैं जिन्होंने शिक्षा को एक अलग ही दर्जा दे रखा है। जिसमें विद्यार्थियों को शिक्षा के साथ तमाम प्रकार के प्रशिक्षण भी दिए जाते हैं।



जानें क्यों दी जा रहा है यह प्रशिक्षण?
बता दें कि मामला जिले के लोदीपुर निवादा के उच्च प्राथमिक विद्यालय का है। जहां के छात्र-छात्राओं को इन दिनों मशरूम की खेती करने का प्रशिक्षण दिया जा रहा है, जो छात्रों के भविष्य के लिए काफी फायदेमंद साबित होगा।

विद्यालय के प्रधानाध्यापक डॉ. धर्मेंद्र सिंह ने बताया की मशरूम की खेती मात्र एक छोटे से खर्च से ही शुरू की जा सकती है। इसमें सामग्री कीटनाशक, पानी, भूसा और बीज व कुछ अन्य दैनिक जीवन में उपयोग होने वाली चीजों की आवश्यकता होती है।

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'छात्र इस विधि को सीखकर पढ़ाई के साथ-साथ आय का भी स्त्रोत बना सकते हैं'
बता दें कि आपको कीटनाशक, पानी, भूसा और बीज इन सभी चीजों का एक मिश्रण बनाकर तैयार कर लेना है। उसके बाद भूसा उपचारित होने के बाद पन्नी के बंडलों में परत दर परत बीजों को रखते हुए बंद कमरे में रख देना है।

क़रीब 15 से 20 डिग्री कमरे का तापमान होने पर बीज अंकुरित होना शुरू कर देते हैं। लगभग 20 दिनों के बाद मशरूम पूरी तरह तैयार हो जाता है। जिसके बाद यह मशरूम को एम डी एम के तहत दिया जाता है। प्रधानाध्यापक ने बताया कि छात्र इस विधि को सीखकर पढ़ाई के साथ साथ आय का भी स्त्रोत बना सकते हैं।

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Harman Kaur