भागवत के बयान पर बोले रामनाइक- RSS एक राष्ट्रवादी संगठन है, स्वयंसेवक अपने ढंग से काम करते हैं

punjabkesari.in Monday, Feb 12, 2018 - 05:45 PM (IST)

बलियाः आरएसएस संघ के प्रमुख मोहन भागवत ने एक बयान दिया है। जिसके चलते राजनीतिक गलियारों में हलचल तेज हो गई है। मोहन भागवत के इस बयान से उठे विवाद के बीच बलिया में उत्तर प्रदेश के राज्यपाल राम नाईक ने कहा है कि संघ एक राष्ट्रवादी संगठन है। बता दें कि राज्यपाल बलिया में चितबड़ागांव थाना स्थित महरेव गांव मे पण्डित दीन दयाल उपाध्याय के मूर्ति का अनावरण करने आए थे।

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ कई वर्षो से कर रहा कार्य 
इस दौरान राज्यपाल ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ कई वर्षो से कार्य कर रहा है और वो अपने ढंग से काम करते रहे हैं। जो भाव आरएसएस के स्वयंसेवकों ने निर्माण किया हुआ है, उससे अगर राष्ट्र पर कितनी भी कठिनाई आ जाए वो एकजुट होकर उससे लड़ने व बलिदान होने के लिए तैयार रहते हैं।

जानकारी के मुताबिक आरएसएस एक राष्ट्रवादी संघ है। जिसकी स्थापना 1925 में नागपुर में विजयदशमी के दिन हुई थी। तब से यह संगठन कभी फैलता कभी सिकुड़ता हुआ भारत को हिंदू राष्ट्र में बदलने के मिशन में लगा हुआ है। इस संघ की खास बात यह भी है कि आरएसएस कागज पर हिंदुत्व को धर्म नहीं जीवनशैली कहता है, लेकिन व्यवहार में मुस्लिम तुष्टीकरण, धर्मांतरण, गौहत्या, राम मंदिर, कॉमन सिविल कोड जैसे ठोस धार्मिक मुद्दों पर सक्रिय रहता है जो सांप्रदायिक तनाव का कारण बनते हैं। अनगिनत रिपोर्टों के मुताबिक़ अक्सर इस संगठन की दंगों में भागीदारी का आरोप लगा है। 

गौरतलब है कि बिहार के मुजफ्फरपुर में एक कार्यक्रम के दौरान संघ प्रमुख मोहन भागवत ने कहा था कि 'यह हमारी क्षमता है पर हम सैन्य संगठन नहीं, पारिवारिक संगठन हैं, लेकिन संघ में सेना जैसा अनुशासन है। यदि देश को जरूरत पड़े और संविधान और कानून की इजाजत हो तो सेना तैयार करने में भले ही 6 माह का समय लग जाए, लेकिन संघ के स्वयंसेवक 3 दिनों में देश के लिए तैयार हो जाएंगे।