23 मार्च को फिर परखी जाएगी BJP और सपा-बसपा गठबंधन की ताकत

punjabkesari.in Sunday, Mar 18, 2018 - 05:25 PM (IST)

लखनऊः लोकसभा की 2 सीटों के उपचुनाव के बाद उत्तर प्रदेश 23 मार्च को होने वाले राज्यसभा चुनाव में बीजेपी और सपा-बसपा गठबंधन के बीच कड़े मुकाबले का गवाह बनेगा। 10 सीटों के लिए होने वाले इस चुनाव में 8 पर बीजेपी की और एक पर सपा की जीत पक्की है, जबकि शेष एक सीट पर भाजपा और सपा-बसपा गठबंधन के बीच रोचक मुकाबले के आसार हैं।

पार्टी नेताओं ने रणनीति पर साधी चुप्पी 
दरअसल, बीजेपी के इस सीट पर दावेदारी पेश करने से मतदान की नौबत आई है। मतदान में क्रास वोटिंग के प्रबल आसार है। हालांकि, पार्टी व्हिप का उल्लघंन करने वाले सदस्यों को अयोग्य ठहराया जाएगा। चुनाव को लेकर बीजेपी और सपा-बसपा के नेताओं ने अपनी भावी रणनीति पर चुप्पी साध रखी है। सपा ने इस सीट के लिए बसपा प्रत्याशी के पक्ष में बचे हुए 10 वोट डालने का एेलान किया है। बीजेपी दसवीं सीट के लिए दूसरी वरीयता के वोट को अपने पक्ष में करने के लिए कोई कसर नहीं छोडेगी।

23 मार्च सुबह 9 बजे होगा मतदान 
मतदान 23 मार्च को विधानसभा के तिलक हाल में सुबह 9 बजे से दोपहर 2 बजे के बीच होगा। मतों की गिनती उसी दिन शाम 5 बजे पूरी कर ली जाएगी और उसके बाद परिणाम की घोषणा होगी। बसपा से मिले समर्थन के बूते फूलपुर-गोरखपुर उपचुनाव में विजय पताका लहराने वाली सपा के अध्यक्ष अखिलेश यादव को राज्यसभा की दसवीं सीट पर बसपा उम्मीदवार को जीत दिलाने का जबरदस्त दवाब है। यादव अपने विधायकों से संगठित होकर बसपा उम्मीदवार को जीत दिलाने के लिए कह चुके हैं।

इन प्रत्याशियों ने किया नामांकन
केन्द्रीय वित्त मंत्री अरूण जेटली समेत बीजेपी के 8 प्रत्याशियों ने पिछले सोमवार को राज्यसभा के लिए पर्चे दाखिल किए थे, मगर आखिरी क्षणों में गाजियाबाद के जानेमाने व्यवसायी अनिल अग्रवाल ने नौवीं सीट के लिए बीजेपी की ओर से नामांकन कर मुकाबले को रोचक बना दिया। भाजपा के अन्य उम्मीदवारों में अशोक बाजपेई, सकलदीप राजभर, कांता कर्दम, विजय पाल सिंह तोमर, डॉ. अनिल जैन, जीवीएल नरसिंहराव और हरनाथ सिंह यादव शामिल हैं। बॉलीवुड अभिनेत्री जया बच्चन ने सपा और बी.आर अंबेडकर ने बसपा उम्मीदवार के तौर पर अपने पर्चे भरे हैं।

बीजेपी का 8 सीटों पर जीतना पक्का
विधानसभा मेभाजपा विधायकों वाली भाजपा का 8 सीटों पर जीतना पक्का है। इसके बावजूद उसके पास 28 विधायक बचते हैं। सीट को अपने पक्ष में करने के लिए उसे 9 वोट की दरकार होगी। उधर, 47 सदस्यों वाली सपा संख्या बल के लिहाज से एक सीट पर जीतेगी। इसके बावजूद उसके पास 10 वोट अतिरिक्त होंगे। इसी तरह कांग्रेस के 7 और बसपा के 19 विधायक अगर एकजुट होकर वोट डालते हैं तो बसपा उम्मीदवार की जीत हो सकती है। 

 

 

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