एएमयू अल्पसंख्यक दर्जा मामले में सुप्रीम कोर्ट ने फैसला रखा बरकरार, CJI ने कहा- AMU अल्पसंख्यक संस्थान
punjabkesari.in Friday, Nov 08, 2024 - 12:26 PM (IST)
अलीगढ़: उच्चतम न्यायालय की सात न्यायाधीशों की संविधान पीठ ने अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के अल्पसंख्यक दर्जे के मामले में शुक्रवार को अपना फैसला सुना दिया है। जनवरी 2006 में इलाहाबाद उच्च न्यायालय ने 1981 के कानून के उस प्रावधान को रद्द कर दिया था जिसके तहत एएमयू को अल्पसंख्यक का दर्जा दिया गया था। संविधान पीठ की अगुवाई कर रहे भारत के प्रधान न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ ने कहा कि इस संबंध में चार अलग-अलग मत थे जिनमें तीन असहमति वाले फैसले भी शामिल हैं।
CJI ने कहा कि धार्मिक संस्थान संस्था बना सकते हैं, संस्था चला नहीं सकते,सरकारी नियमों के तहत संस्थान बना सकते हैं। धार्मिक समुदाय संस्था का प्रशासन नहीं कर सकता है। प्रधान न्यायाधीश ने कहा कि उन्होंने अपने और न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, न्यायमूर्ति जेबी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा के लिए बहुमत का फैसला लिखा है। उच्चतम न्यायालय ने 1967 के फैसले को खारिज करते हुए कहा था कि एएमयू केंद्रीय विश्वविद्यालय है इसलिए इसे अल्पसंख्यक संस्थान नहीं माना जा सकता । फिलहाल सुप्रीम कोर्ट ने AMU को अल्पसंख्यक संस्थान का दर्जा बरकरार रखा है।