CM योगी ने अमित शाह का किया गुणगान, कहा- उनके जीवन पर 4 महापुरुषों की छाप

punjabkesari.in Wednesday, Nov 06, 2019 - 09:04 AM (IST)

लखनऊः यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह का गुणगान करते हुए कहा कि उनके जीवन पर शंकराचार्य, चाणक्य, सावरकर और मोदी की छाप है। जिस तरह भारत की गुलामी का कारण बने नंद वंश को उखाड़ने का संकल्प चाणक्य ने लिया था, वैसे ही कांग्रेस मुक्त भारत बनाने का संकल्प शाह ने लिया है।

अन्य दलों ने देश की कीमत पर की राजनीति 
योगी ने कहा कि अमित शाह के जीवन पर 4 महापुरुषों की छाप देखने को मिलती है। उनमें आदि शंकराचार्य की साधना, आचार्य चाणक्य की नीति, वीर सावरकर का राष्ट्रवाद और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की राष्ट्र के प्रति प्रतिबद्धता का भाव है। आदि शंकराचार्य की सांस्कृतिक विरासत को संभालने का भाव अमित शाह में है। अन्य दलों ने देश की कीमत पर राजनीति की। भारतीय जनसंघ अकेला दल था, जिसने कहा कि दल से बड़ा देश है।

सिद्धांतों से समझौता किए बिना बनाई सरकार
1976 में लोकतंत्र को बचाने के लिए जनसंघ ने जनता पार्टी में अपना विलय किया था। जनता पार्टी जब स्थिति नहीं संभाल पाई, तो 1980 में भारतीय जनता पार्टी ने अपनी यात्रा प्रारंभ की जिसने अपने सिद्धांतों से समझौता किए बिना मात्र 16 वर्ष में देश में अपनी पहली सरकार बनाई। उन्होंने कहा कि सबका साथ सबका विकास का नारा सनातन धर्म की मूल भावना ‘सर्वे भवन्तु सुखिनः सर्वे सन्तु निरामया' को प्रकट करने वाला है।

मोदी देश ही नहीं, बल्कि दुनिया के लोकप्रिय नेता
मुख्यमंत्री ने कहा कि बीजेपी की यात्रा से दो नेता निकले। पहला मोदी और दूसरा शाह। मोदी ने देश ही नहीं, बल्कि दुनिया में एक लोकप्रिय नेता के रूप में अपना विशिष्ट स्थान बनाया। शाह की यात्रा बूथ अध्यक्ष से प्रारंभ होकर आज भारत के गृहमंत्री के रूप में देखने को मिलती है। कोई व्यक्ति अचानक बड़ा नहीं बन जाता। उस व्यक्ति का समाज, लोकतंत्र एवं राष्ट्र के लिए भाव और अंतःकरण क्या है यह समझने की आवश्यकता है।

शाह ने कहा परिश्रम का कोई विकल्प नहीं होता
योगी ने कहा कि उपचुनाव में हार के बाद मैं शाह के पास गया था। तब उन्होंने कहा था कि सपा, बसपा या जो भी दल महागठबंधन में शामिल होना चाहते हैं, हो जाएं यह सब गायब हो जाएंगे। विपरीत से विपरीत परिस्थितियों में भी बीजेपी उत्तर प्रदेश में बड़ी जीत दर्ज करेगी। बस आप परिश्रम करते रहिए, क्योंकि परिश्रम का कोई विकल्प नहीं होता। उनमें परिश्रम की पराकाष्ठा का भाव है, जिसका परिणाम आज सबके सामने है।

Deepika Rajput