बद्रीनाथ धाम बनेगा स्मार्ट आध्यात्मिक शहर, 100 करोड़ के समझौते पर करार

punjabkesari.in Thursday, May 06, 2021 - 07:09 PM (IST)

 

देहरादूनः उत्तराखंड के मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत एवं केंद्रीय पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान की उपस्थिति में गुरुवार को केदारनाथ उत्थान ट्रस्ट तथा तेल एवं प्राकृतिक गैस मंत्रालय की पब्लिक सेक्टर कंपनियों के मध्य बद्रीनाथ धाम को स्मार्ट आध्यात्मिक शहर के रूप में विकसित करने के लिए लगभग 100 करोड़ के कार्यों के समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर हुए।

इस पर पेट्रोलियम मंत्रालय की ओर से सचिव तन्नू कपूर एवं उत्तराखंड की ओर से पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर ने हस्ताक्षर किए। सचिवालय में वर्चुअल रूप से आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए तीरथ ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की प्रेरणा एवं मार्गदर्शन में वर्ष 2013 में आई आपदा के बाद पुनर्निर्माण के कार्य शुरू हुए थे, जो कि अब अपने अंतिम चरणों में हैं। उन्होंने कहा कि इसी कड़ी में प्रधानमंत्री ने बद्रीनाथ धाम के कायाकल्प का भी निर्णय लिया। यहां आगामी 100 वर्षों की आवश्यकताओं के मद्देनजर सुविधाओं का विकास कुल 85 हेक्टेयर भूमि में चरणबद्ध तरीके से कार्य किए जाने हैं।

मुख्यमंत्री ने कहा कि बद्रीनाथ धाम में यात्रियों के लिए सुविधाएं बढ़ाने के विशेष प्रयास किए जा रहे हैं। इसी के साथ यहां पर व्यास गुफा, गणेश गुफा एवं चरण पादुका आदि का भी पुनर्विकास किया जाना है। उन्होंने कहा कि बद्रीनाथ धाम के विकास में तेल कंपनियों का योगदान सराहनीय है। तीरथ सिंह रावत ने कहा कि राज्य सरकार का ध्यान क्षेत्र में होमस्टे को बढ़ावा देने पर है ताकि श्रद्धालुओं को यहां आने पर सस्ती सुविधाएं उपलब्ध हो सकें। उन्होंने कहा कि आगामी 3 वर्षों में बद्रीनाथ धाम के कायाकल्प के लिए सरकार प्रतिबद्ध है। उन्होंने बद्रीनाथ धाम में किये जा रहे कार्यों के लिए विशेष तौर पर प्रधानमंत्री एवं पेट्रोलियम मंत्री का विशेष आभार जताया।

इस अवसर पर प्रधान ने कहा कि उत्तराखंड के चार धामों का विशेष महत्व है। बद्रीनाथ धाम के कायाकल्प को लेकर तेल कंपनियां प्रतिबद्ध हैं। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में बद्रीनाथ एवं केदारनाथ धामों की भांति ही उत्तरकाशी में गंगोत्री एवं यमुनोत्री धामों के लिए भी कुछ कार्य करवाए जाएंगे। उन्होंने कहा कि बद्रीनाथ धाम को प्रधानमंत्री मोदी के विज़न के अनुरूप स्मार्ट आध्यात्मिक शहर के रूप में विकसित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यहां पर अलकनंदा नदी के तटबंध कार्यों के अलावा प्लाजा, जल निकासी, सीवेज, लाइट, सीसीटीवी, पीए सिस्टम, शौचालय, पुल आदि के सौंदर्यीकरण एवं पुनर्निर्माण के कार्य होने प्रस्तावित हैं।


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Nitika

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