कोर्ट में पेशी के बाद 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजे गए मृत्युंजय मिश्रा

punjabkesari.in Wednesday, Dec 05, 2018 - 11:04 AM (IST)

देहरादून: उत्तराखंड आयुर्वेद विश्वविद्यालय के पूर्व कुलसचिव मृत्युंजय मिश्रा को मंगलवार को देहरादून की जिला और सेशन न्यायालय में पेश किया गया। इस दौरान अभियोजन पक्ष और बचाव पक्ष ने अपनी-अपनी दलीलें पेश की।

जानकारी के अनुसार, अभियोजन पक्ष के वकील ने कहा कि आरोपी पर लगे भ्रष्टाचार के मामलों की जांच शासन के द्वारा विजिलेंस को सौंपी गई थी, जिसमें कि प्रथम दृष्टया पर सभी आरोप सही पाए गए हैं। मृत्युंजय मिश्रा ने आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय में सप्लाई करने वाली 2 कंपनियों के साथ मिलीभगत कर उनके अकाउंट में रुपए ट्रांसफर करवाए, जिसके बाद उन खातों के एटीएम खुद अपने पास रखकर उसमें से पैसे निकाले। इसके साथ ही कुछ रुपयों को अपने बैंक अकाउंट में भी ट्रांसफर करवाए हैं।

बचाव पक्ष के वकील ने कहा कि बैंक खातों में ट्रांसफर हुई रकम के बारे में भी बैंक मैनेजर या अन्य अधिकारी से सबूत वाले बयान नहीं लिए गए। बचाव पक्ष के अधिवक्ता ने कहा कि इस मामले में लंबे अंतराल के बाद शासन के दबाव में आरोपी के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। केस में कोई पुख्ता साक्ष्य या किसी तरह के बयान अभी तक नहीं लिए गए हैं। ऐसे में मृत्युंजय मिश्रा को एक सोची-समझी रणनीति के अन्तर्गत फसाया जा रहा है। वहीं दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद न्यायालय ने मृत्युंजय मिश्रा को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया गया है। मृत्युंजय मिश्रा अब 17 तारीख को कोर्ट में पेश होंगे।

बता दें कि विजिलेंस टीम के द्वारा जांच में मृत्युंजय मिश्रा के खिलाफ भ्रष्टाचार और जालसाजी की पुष्टि की गई थी। इसी के चलते विजिलेंस टीम ने 3 दिसंबर को पूर्व कुलसचिव को गिरफ्तार कर लिया था।


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Nitika

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