पिथौरागढ़ः शहीद शंकर का रामेश्वर घाट पर हुआ अंतिम संस्कार, सैन्य सम्मान के साथ दी गई विदाई

punjabkesari.in Monday, May 04, 2020 - 05:10 PM (IST)

 

पिथौरागढ़ः कश्मीर के उड़ी बारामुला में नियंत्रण रेखा पर पाकिस्तान की ओर से हुए हमले में पिथौरागढ़ जिले के दो जवानों ने अपनी शहादत दे दी। वही दोनों शहीद जवानों का पार्थिव शरीर रविवार को उनके पैतृक गांव लाया गया, जहां रामेश्वर घाट में पूरे सैन्य सम्मान के साथ शहीद शंकर सिंह की अंत्येष्टि की गई।

जवान ने देश के लिए दी शहादत
पाकिस्तान की ओर से शुक्रवार को भारतीय सेना और नागरिक ठिकानों पर गोलाबारी की गई, जिसके बाद भारतीय सेना की कुमाऊं रेजिमेंट ने भी जवाबी हमला किया। इसमें हवलदार गोकर्ण सिंह चुफाल 40 वर्ष जो पिथौरागढ़ के मुनस्यारी के नापड़ के रहने वाले थे और 30 वर्षीय शंकर सिंह जो गंगोलीहाट के दुनी के रहने वाले थे, दोनों ने देश के लिए अपनी शहादत दे दी।

गांव में हर किसी की आंखे नम
वहीं रविवार को दोनों जवानों का पार्थिव शरीर उनके गांव लाया गया। जैसे ही शहीद शंकर का पार्थिव शरीर उनके गांव दूनी पहुंचा तो पूरे गांव मे कोहराम मच गया। हर किसी की आंखे नम दिखाई दी। जहां मां बार-बार अपने पुत्र को आवाज लगा रही थी, वहीं पिता भी जैसे तैसे अपने को संभालने की कोशिश कर रहे थे। शहीद के पिता भी पूर्व सैनिक रह चुके है। छोटा भाई भी सेना में सेवा दे रहा है। पिता भी इसी कुमाऊं रेजिमेंट की प्लाटून में थे जहां आज उनका पुत्र शहीद हुआ है।

मां गोलाबारी हो रही है, कुछ देर बाद फोन करता हूंः जवान
पिता का कहना है कि आज उनका बेटा देश के लिए शहीद हो गया है। मां ने भी बताया कि बेटे के शहीद होने के कुछ समय पहले फोन में बात हुई थी। बेटा कह रहा था मां गोलाबारी हो रही है, कुछ देर बाद फोन करता हूं। वहीं फोन पर बातचीत के दौरान बेटे को बंकर में जाने की बात भी मां के द्वारा कही गई। बता दें कि शहीद अपने पीछे पत्नी और एक 5 साल के बेटे को छोड़ गया है।


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Nitika

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