Mirzapur News: ठग नफीस के बाद अब धरा गया राशिद, बाबा बनकर मेरठ पहुंचा और खुद को बताया अन्नू
punjabkesari.in Monday, Feb 12, 2024 - 12:17 PM (IST)
मिर्जापुर: उत्तर प्रदेश में ऐसे-ऐसे ठगी के मामले सामने आ रहे हैं, जिसे जानकर हर कोई हैरान हो जा रहा है। प्रदेश में अभी अमेठी जिले में ठग नफीस का मामला शांत भी नहीं हुआ और मिर्जापुर में उसी गिरोह का राशिद ने एक और घटना का अंजाम दे दिया, लेकिन समय रहते परिजनों ने ठग को पहचान पहचान लिया औऱ पुलिस के हवाले कर दिया।
आपको बता दें कि यह मामला जिले के चुनार थाना क्षेत्र का है, जहां सहसपुरा के रहने वाले बुद्धिराम विश्वकर्मा का बेटा अन्नू 14 अप्रैल 2011 में शिव संकरीधाम मेला में घूमने गया था। जहां से वह मेला में खो गया था। बेटे की तलाश में परेशान बुद्धिराम के मुहल्ले में जुलाई 2021 में गोंडा का रहने वाला राशिद जोगी(बाबा) के भेष में सारंगी बजता हुआ पहुचा, तो परिजन ने उसे अन्नू के रूप पहचाना और घर ले आए।
'1 लाख 46 हजार रुपये राशिद के दूसरे साथी नफीस को दिया'
खोये हुए बेटे को पाने की खुशी में परिवार इतना खुश था कि ठग राशिद जो कहता गया परिवार वह मानता गया। दरअसल, परिवार के लोगों से राशिद ने कहा कि मैं जोगी बना हूं। जिस मठ और गुरू ने जोगी बनाया है उनको जब तक पैसे नहीं दूंगा तब तक मैं गृहस्थ आश्रम में नहीं आ सकता। इसके बाद परिवार और मुहल्ले वालो ने मिलकर पैसा इकठ्ठा किया। फिर परशोधा रेलवे क्रासिंग पर 21 जुलाई 2021 को 1 लाख 46 हजार रुपये बाबा बने राशिद के दूसरे साथी नफीस को दिया।
गहने इकट्ठा करवाने लगा तो शक हुआ
बड़ी फिल्मी स्टाइल में ठग रासिद ने परिवार वालों को यह विश्वास दिलाया कि उनके घर पर किसी भूत प्रेत का साया है। इसके उपाय के लिए पूजा करना पड़ेगा। जिसके बाद वह पूरे घर और मुहल्ले के लोगों से उनके आभूषण मांगकर पोटली में बांध कर उसे रख दिया। परिजनों को शक हुआ, तो वे लोग पोटली को खोला, जिसमे ईंट और पत्थर मिला। इसके बाद उसे पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया। हालांकि, परिजनों को 6 महीने बाद उनका खोया बेटा अन्नू मिल गया।