भतीजे की पुकार पर पिघली बुआ! ''एक और मौका'' या ''एक और चाल''... मायावती के फैसले के पीछे क्या है असली वजह?
punjabkesari.in Monday, Apr 14, 2025 - 09:05 AM (IST)

Lucknow News: बहुजन समाज पार्टी (बसपा) से निष्कासित किए गए पार्टी प्रमुख मायावती के भतीजे आकाश आनंद ने रविवार को अपनी 'गलतियों' की माफी मांगते हुए पार्टी में वापस लिए जाने की गुहार लगाई। इसके कुछ घंटों बाद मायावती ने उन्हें 'एक और मौका' देने का ऐलान कर दिया। हालांकि मायावती ने दोहराया कि वह अपने जीते जी किसी को भी अपना उत्तराधिकारी नहीं बनाने के अपने फैसले पर कायम हैं। साथ ही उन्होंने आकाश के ससुर अशोक सिद्धार्थ को पार्टी में दोबारा लेने से इनकार किया।
अब सियासी फैसलों में नहीं चलेगा रिश्तेदारों का दखल
मिली जानकारी के मुताबिक, आकाश ने सोशल मीडिया मंच 'एक्स पर की गई सिलसिलेवार पोस्ट में प्रण लेते हुए कहा कि वह अब भविष्य में अपने किसी भी राजनीतिक फैसले के लिए किसी नातेदार और सलाहकार से कोई राय नहीं लेंगे। आकाश ने अपनी पोस्ट में कहा कि बसपा की राष्ट्रीय अध्यक्ष, उप्र की 4 बार मुख्यमंत्री रही एवं लोकसभा व राज्यसभा की भी कई बार सदस्य रही आदरणीय बहन कुमारी मायावती जी को मैं अपना दिल से एकमात्र राजनीतिक गुरू व आदर्श मानता हूं। आज मैं यह प्रण लेता हूं कि बहुजन समाज पार्टी के हित के लिए मैं अपने रिश्ते-नातों को व खासकर अपने ससुराल वालों को कतई भी बाधा नहीं बनने दूंगा।
आकाश आनंद ने मायावती से मांगी माफी, रिश्तेदारों से किया किनारा
बताया जा रहा है कि उन्होंने इसी श्रृंखला की अगली पोस्ट में कहा कि यही नहीं बल्कि कुछ दिनों पहले किए गए अपने ट्वीट के लिए भी माफी मांगता हूं जिसकी वजह से आदरणीय बहन जी (मायावती) ने मुझे पार्टी से निकाल दिया है। आगे से इस बात को सुनिश्चित करूंगा कि मैं अपने किसी भी राजनीतिक फैसले के लिए किसी भी नाते-रिश्तेदार और सलाहकार की कोई सलाह मशविरा नहीं लूंगा। आकाश ने कहा, "और सिर्फ आदरणीया बहन जी के दिए गए दिशा-निर्देशों का ही पालन करूंगा तथा पार्टी में अपने से बड़ों की व पुराने लोगों की भी पूरी इज्जत करूंगा और उनके अनुभवों से भी काफी कुछ सीखूंगा।
आकाश की माफ़ी और वफादारी के ऐलान पर पिघलीं मायावती
उन्होंने कहा कि आदरणीय बहन जी से अपील है कि वह मेरी सभी गलतियों को माफ करके मुझे पुन: पार्टी में कार्य करने का मौका दें, इसके लिए मैं सदैव उनका आभारी रहूंगा। साथ ही अब मैं आगे ऐसी कोई भी गलती नहीं करूंगा, जिससे पार्टी व आदरणीय बहन जी के आत्म-सम्मान व स्वाभिमान को ठेस पहुंचे। इसके कुछ घंटों बाद मायावती ने 'एक्स' पर पोस्ट कर आकाश को एक और मौका दिये जाने की घोषणा की। उन्होंने कहा कि आकाश आनन्द द्वारा ‘एक्स' पर आज अपने चार पोस्ट में सार्वजनिक तौर पर अपनी गलतियों को मानने व वरिष्ठ लोगों को पूरा आदर-सम्मान देने की बात कही गई है और यह भी कहा गया है कि वह अपने ससुर की बातों में नहीं आएंगे लिहाज़ा बसपा व आंदोलन के लिए जीवन समर्पित करने के मद्देनजर इन्हें एक और मौका देने का निर्णय लिया जाता है।
स्वस्थ हूं, सक्रिय रहूंगी और कोई उत्तराधिकारी नहीं बनाऊंगी: मायावती
बसपा प्रमुख ने कहा कि वैसे अभी मैं स्वस्थ्य हूं और जब तक पूरी तरह से स्वस्थ्य रहूंगी, मान्यवर श्री कांशीराम जी की तरह पार्टी व आंदोलन के लिए पूरे जी-जान व तन्मयता से समर्पित रहकर कार्य करती रहूंगी। ऐसे में मेरे द्वारा उत्तराधिकारी बनाने का कोई प्रश्न ही नहीं उठता है। मैं अपने निर्णय पर अटल हूं व रहूंगी। मायावती ने कहा कि वैसे पार्टी से निष्कासन के बाद आकाश अपनी तमाम गलतियों के लिए माफी मांगने व आगे ऐसी गलती नहीं करने को लेकर लोगों से लगातार सम्पर्क करता रहा है और आज उसने सार्वजनिक तौर पर अपनी गलतियों को मानते हुए अपने ससुर की बातों में आगे नहीं आने का संकल्प व्यक्त किया है। उन्होंने कहा कि आकाश के ससुर अशोक सिद्धार्थ की गलतियां अक्षम्य हैं। उन्होंने गुटबाजी आदि जैसी घोर पार्टी विरोधी गतिविधियों के साथ-साथ आकाश के करियर को भी बर्बाद करने में कोई कसर नहीं छोड़ी है, इसलिए उनको माफ करने व पार्टी में वापस लेने का सवाल ही पैदा नहीं होता है।
2 मार्च से शुरू हुई सियासी सख़्ती, पद हटाए गए आकाश और फिर निष्कासन
मायावती ने 2 मार्च को अपने तत्कालीन 'उत्तराधिकारी' आकाश आनंद को पार्टी के राष्ट्रीय समन्वयक सहित सभी पदों से मुक्त कर दिया था। अगली सुबह आकाश ने 'एक्स' पर एक विस्तृत पोस्ट में अपना पक्ष रखते हुए कहा था कि पार्टी के सभी पदों से मुक्त किये जाने का निर्णय उनके लिए व्यक्तिगत रूप से भावनात्मक है लेकिन साथ ही अब एक बड़ी चुनौती भी है, परीक्षा कठिन है और लड़ाई लंबी है। उन्होंने यह भी कहा था कि बसपा एक विचार और एक आंदोलन है जिसे दबाया नहीं जा सकता और इस मशाल को जलाए रखने और इसके लिए अपना सब कुछ न्यौछावर करने के लिए लाखों आकाश आनंद हमेशा तैयार हैं। इसके बाद उसी दिन मायावती ने आकाश आनंद को पार्टी से निष्कासित कर दिया था। उन्होंने आकाश के ससुर अशोक सिद्धार्थ को भी पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया था और कहा था कि सिद्धार्थ ने आनंद का राजनीतिक करियर बर्बाद कर दिया है। मायावती ने यह भी ऐलान किया था कि उनके जीते जी अब कोई भी उनका उत्तराधिकारी नहीं होगा।