पुलवामा: शहीद अजीत के पिता बोले-सरकार ने आश्वासन तो बहुत दिया लेकिन पूरा नहीं किया

punjabkesari.in Friday, Feb 14, 2020 - 01:06 PM (IST)

उन्नाव: जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकी हमले को आज पूरे एक साल हो चुके हैं। शहीदों की याद में आज पूरा देश शोक मना रहा है और श्रद्धांजलि अर्पित कर रहा है। ज्ञात हो कि देश को झकझोरकर रख देने वाले आतंकी हमले में देश के कुल 40 जवान शहीद हुए थे। जिसमें अकेले उत्तर प्रदेश के 12 जवान शामिल हैं। इन जवानों में उन्नाव जिले के रहने वाले अजीत कुमार गौतम भी हैं। जो सीआरपीएफ की 21 बटालियन में तैनात थे। शहीद अजीत कुमार अपने पीछे माता-पिता और बीवी-बच्चे छोड़ गए हैं। अजीत की दो छोटी बच्चियां व एक भाई भी है। 
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शहीदों की बरसी पर जब अजीत के पिता प्यारेलाल गौतम से बात की गई तो उन्होंने मीडिया के सामने अपना दुख जाहिर किया। उन्होंने बताया कि सरकार ने जो हमें 5,00,000 की आर्थिक सहायता दी थी वह हमें मिली। सामाजिक संस्थाओं में बरेली में अमिताभ बच्चन ने 500000 रुपये की आर्थिक मदद दिया है। सरकार की ओर से आश्वासन तो बहुत दिए गए थे मगर उनको पूरा नहीं किया गया। जमीन भूखंड देने के लिए कहा था लेकिन वह भी नहीं दिया गया। गैस एजेंसी के लिए कहा गया था वह भी नहीं दिया। शहीद के नाम से एक स्कूल खुलवाया जाएगा वह भी नहीं किया। रिलायंस से अभी कोई बात ही नहीं हुई है ना कोई आया गया। 
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प्यारे लाल ने बताया कि जब घटना घटित हुई थी तब बहुत संस्थाओं ने बहुत कुछ देने के लिए कहा था। हम ऐसा करेंगे, बच्चों की शिक्षा देंगे लेकिन अब तक कुछ नहीं हुआ। प्रियंका गांधी की ओर से कहा गया था कि बच्चों की शिक्षा हम दिलाएंगे, बाहर एडमिशन करवाएंगे। आश्वासन ही आश्वासन हुए अभी तक उस पर कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। 

प्यारे लाल ने कहा कि जो पुलवामा में घटनाएं हुई थी उसके बारे में समाचार पत्रों में पढ़ा है कि जिन लोगों का हाथ था उनको मारा गया है। अब क्या क्या सही था उसकी जानकारी हमको नहीं है। यही पेपर में जो आता है वही देख लेते हैं और जो तमाम घटनाएं हो रही हैं यह उनमें कौन से लोग थे उसके बारे में कोई जानकारी नहीं है। 

वहीं जब अजीत की पत्नी मीना गौतम से बात की गई तो उन्होंने बताया कि पहले घर की सारी जिम्मेदारी उनकी (अजीत) थी अब हमारे ऊपर है। दिक्कतें तो बहुत हैं पर संघर्ष तो अब करना ही है। 
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सवाल-जवाब
सवाल-शहीद के नाम पर स्मारक बना?
मीना-हां, स्मारक बन गया है लेकिन मूर्ति अपने तरफ से बनवा दी गई है। 
सवाल-घर में किसी को नौकरी मिली? 
मीना-हां, हमें नौकरी मिल गई है।
सवाल-रिलायंस कंपनी ने शहीदों के बच्चों को मुफ्त शिक्षा देने की घोषणा की थी क्या हुआ?
मीना- अभी तक उनकी तरफ से कोई नहीं आया।
सवाल-बच्चों की पढ़ाई कैसे हो रही है?
मीना-स्कूल में बच्चों की फीस माफ है, बाकी जो है हम खुद मैनेज करते हैं। 
सवाल-मकान बनवाने की बातें कही गई थी क्या हुआ?
मीना-पीडब्लूडी से फोन आया था कि मकान बनाकर देंगे, लेकिन अभी तक कुछ नहीं हुआ।


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Ajay kumar

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