सूरज ढलते ही बिकरु गांव में छा जाती है वीरानी, लोगों ने कहा- विकास दुबे कुछ कहना चाहता है

punjabkesari.in Tuesday, Sep 15, 2020 - 05:00 PM (IST)

कानपुरः उत्तर प्रदेश कानपुर के बिकरू गांव में 2 जुलाई की रात में हुए वारदात को भला कौन भूल सकता है। जिसमें गैंगेस्टर विकास दुबे ने 8 पुलिस कर्मियों की जान ले ली थी। हालांकि उसके कुछ ही दिनों के बाद विकास और उसके साथी पुलिस की गोलियों के शिकार हो गए। है। दुबे के एनकाउंटर कई दिनों के बाद भी ग्रामीणों में भय बरकरार है। गांव में सूरज ढलते ही लोग भय की वजह से घरों में कैद हो जाते हैं।

ग्रामीणों का कहना है कि गैंगस्टर के खंडहर हो चुके घर में उसके होने का एहसास होता है, जबकि गांव में तैनात चार पुलिसकर्मी, इनमें दो महिला सिपाही हैं, उनका कहना है कि ग्रामीणों की बातें अफवाह से ज्यादा कुछ नहीं है। बिकरु गांव जिस थाना क्षेत्र में है, उस चौबेपुर थाने में भी पुलिस कर्मियों ने हवन-पूजन कराया था।

350 घरों वाले बिकरु गांव में रहने वाले लोग अब विकास दुबे के काले कारनामे को लेकर खुलकर बात करते हैं। लेकिन रात में गांव सन्नाटा छा जा जाता है। विकास दुबे ने एक कुत्ता पाल रखा था। वह अभी भी गांव में घूमता है और घर के पास आकर रोता रहता है। लोग कहते हैं कि, रात के समय गांव में गोली चलने की आवाजें सुनाई देती हैं। यही वजह है कि सूरज ढलते ही गांव में वीरानी छा जाती है। नाम न छापने की शर्त पर एक युवक ने कहा कि विकास दुबे को घर के खंडहर के बीच बैठकर मुस्कुराते हुए देखा है। ऐसा लगता है कि वह हम लोगों को कुछ बताना चाहता है। हमें लगता है कि वह अपनी मौत का बदला लेगा।

वहीं ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मियों का कहना है कि उन्होंने ऐसा कुछ कभी नहीं दिखा। ड्यूटी करने में भी कभी कोई समस्या नहीं आई। पुलिसकर्मियों ने ग्रामीणों के दावों को भी खारिज किया।

 


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Moulshree Tripathi

Recommended News

Related News

static