गंगा विलास क्रूज का उद्घाटन कर बोले PM मोदी- विदेशों जैसा अनुभव अब भारत में...
punjabkesari.in Friday, Jan 13, 2023 - 12:12 PM (IST)
वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को एमवी गंगा विलास लग्जरी क्रूज को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। गंगा विलास क्रूज के उद्घाटन के साथ ही भारत को सबसे लंबे रिवर क्रूज की सौगात मिल गई है। यूपी के काशी से असम के बोगीबील तक यह क्रूज 3200 किलोमीटर का सफर तय करेगा। गंगा विलास क्रूज यूरोपीय देशों के लोगों को खूब पसंद आ रहा है।
इस अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि आज काशी से डिब्रूगढ़ के बीच दुनिया की सबसे लंबी नदी जल यात्रा गंगा विलास क्रूज का शुभारंभ हुआ है। इससे पूर्वी भारत के अनेक पर्यटक स्थल विश्व पर्यटन मानचित्र में और प्रमुखता से आने वाले हैं। उन्होंने कहा कि गंगा नदी हमारे लिए सिर्फ जलधारा नहीं है, बल्कि प्राचीन काल से तप-तपस्वियों की साक्षी है। मां गंगा ने भारतीयों को हमेशा पोषित किया है, प्रेरित किया है। गंगा पट्टी आजादी के बाद पिछड़ती चली गई। लाखों लोगों का पलायन हुआ, इस स्थिति को बदलना जरूरी था और हमने नई सोच के साथ काम करना शुरू किया। एक तरफ नमामी गंगे के माध्यम से गंगा की निर्मलता के लिए काम किया, दूसरी तरफ अर्थ गंगा पर भी काम किया। आर्थिक गतिविधियों का नया वातावरण बनाया।
प्रधानमंत्री ने कहा कि यूपी, बिहार, असम, बंगाल और बांग्लादेश की यात्रा के दौरान यह क्रूज हर तरह की सुविधा मुहैया करवाएगा। मैं सभी विदेशी टूरिस्ट का विशेष अभिनंदन करता हूं जो पहले सफर पर निकलने वाले हैं। मैं कहूंगा कि भारत के पास वो सबकुछ है जिसकी आप कल्पना कर सकते हैं। भारत की व्याख्या सिर्फ शब्दों में नहीं की जा सकती, हमें दिल से समझा सकता है।
वहीं केंद्रीय मंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने कहा कि आज का दिन दुनिया की रिवर क्रूज के इतिहास में लिखा जाएगा क्योंकि ये दुनिया का सबसे लंबा सफर होगा। ये UP, बिहार, झारखंड, प.बंगाल, बांग्लादेश से होकर डिब्रूगढ़ तक जाएगा। इस सफर के जरिए सिर्फ पर्यटन का ही रास्ता नहीं बल्कि व्यापार का भी रास्ता खुलेगा।
बता दें कि यह 52 दिन में करीब 3200 किमी की दूरी तय कर डिब्रूगढ़ पहुंचेगा। गंगा विलास क्रूज यूरोपीय देशों के लोगों को खूब पसंद आ रहा है। जिसका परिणाम है कि आगामी 5 सालों के लिए लगभग 60 फ़ीसदी यूरोपीय व अन्य विदेशी नागरिकों ने इसकी बुकिंग करा ली है। इसमें सफर करने वाले विदेश सैलानी भी सुविधाओंक को लेकर काफी संतुष्ट हैं। आइए जानते हैं काशी से डिब्रूगढ़ तक गंगा विलास के सफर की क्या सुविधाएं और खासियत है। जलयान में 36 पर्यटक एक साथ यात्रा कर सकते हैं। पहले सफर में वाराणसी से स्विट्जरलैंड के कुल 32 पर्यटक यात्रा करेंगे। इसमें से 10 पर्यटक कोलकाता में उतर जाएंगे और स्विट्जरलैंड के ही इतने नए यात्री वहां आगे के सफर के लिए जुड़ जाएंगे।