भारत-पाकिस्तान युद्ध 1971 के 51 वर्ष पूरे, व्हाइट टाइगर डिवीजन में विजय दिवस कार्यक्रम आयोजित

punjabkesari.in Saturday, Dec 17, 2022 - 12:56 PM (IST)

झांसी ( शहजाद खान ): भारत-पाकिस्तान युद्ध 1971 के 51 वर्ष पूरे होने पर स्वर्ण जयंती वर्ष के उपलक्ष्य में भारतीय सेना के व्हाइट टाइगर डिवीजन एवं जिला प्रशासन के संयुक्त तत्वाधान में विजय दिवस समारोह का आयोजन लक्ष्मी व्यायाम मंदिर इंटर कॉलेज परिसर में किया गया। कार्यक्रम में सांसद झांसी-ललितपुर अनुराग शर्मा मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। इस अवसर पर वीर जवानों की शौर्य गाथाओं से जन-जन को अवगत कराने हेतु प्रसिद्ध गायक अमय डाबली द्वारा म्यूजिकल कंसर्ट के माध्यम से देश के वीर जवानों को याद किया गया है।

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बता दें कि कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित सांसद अनुराग शर्मा ने अपने संबोधन में विजय दिवस की शुभकामनाएं देते हुए कहा कि, वीरांगना लक्ष्मीबाई ने पूरे विश्व में प्रथम नारी के रूप में शौर्य एवं वीरता की ज्योति जगाई है, जो कि नारी शक्ति के लिए अत्यधिक गौरव की बात है। इस दौरान उन्होंने कुशल प्रस्तुति के लिए अमय डाबली एवं उनकी टीम के सदस्यों को पुरस्कृत भी किया गया।

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कार्यक्रम में फिल्म के जरिए बताई युद्ध की कहानी
कार्यक्रम में फिल्म के जरिए से बताया गया कि, आज से 51 साल पहले 16 दिसंबर 1971 को भारत ने एक लंबी लड़ाई के बाद पाकिस्तान के विरुद्ध विजय प्राप्त की थी। आज ही के दिन पाकिस्तानी सेना के प्रमुख जनरल अमीर अब्दुल्ला खान नियाजी ने 93000 पाकिस्तानी सैनिकों के साथ भारतीय सेना और बांग्लादेश की मुक्ति वाहिनी की संयुक्त सेना के सामने आत्मसमर्पण किया था। इसके अतिरिक्त जनरल नियाजी और जनरल राव फरमान अली ने ढ़ाका में भारतीय सेनाओं की कमान के इंचार्ज जगजीत सिंह अरोड़ा के समक्ष आत्मसमर्पण किया। जगजीत सिंह अरोड़ा भारतीय सेना की 3 सितारा जनरल थे, जिन्होंने बांग्लादेश मुक्ति संग्राम में एक अहम भूमिका निभाई। 1971 के भारत-पाकिस्तान युद्ध के समय वह पूर्वी कमान के जनरल ऑफिसर कमांडर इन चीफ रहे।

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"विजय दिवस" के रूप में मनाया जाता है 16 दिसंबर
भारत सरकार द्वारा उन्हें सन 1971 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था। यह द्वितीय विश्व युद्ध के बाद अब तक का सबसे बड़ा सैन्य आत्मसमर्पण भी था। 1971 के युद्ध में पाकिस्तान पर भारतीय सशस्त्र बलों की जीत का सम्मान करने के लिए हम सभी प्रत्येक वर्ष 16 दिसंबर को "विजय दिवस" के रूप में मनाते हैं। इस युद्ध में भारत की तीनों सेनाओं ने एक साथ लड़ाई लड़ी। ऐसा पहली बार था जब भारत की तीनों सेनाओं ने एक साथ किसी युद्ध में प्रतिभाग किया।

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सेना के लिए विभिन्न स्थानों पर की गई संगीत कार्यक्रमों की प्रस्तुति
"विजय दिवस समारोह" में वीर जवानों की शौर्य गाथाओं से जन-जन को अवगत कराने हेतु प्रसिद्ध गायक अमय डाबली द्वारा म्यूजिकल कंसर्ट के माध्यम से वीर शहीदों के अदम्य शौर्य एवं साहस का प्रदर्शन किया गया। अमय डाबली द्वारा लगभग 21 देशों में 1800 से अधिक कार्यक्रम किए गए हैं, वह 5 वर्ष से भारतीय सेना के लिए विभिन्न स्थानों पर संगीत कार्यक्रमों की प्रस्तुति दे रहे हैं।


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Content Editor

Pooja Gill

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