नोएडा में चला न्याय का डंडा: 80 साल का ''दरिंदा'' अब सलाखों के पीछे, नाबालिग से रे*प के आरोप में 20 साल की कैद
punjabkesari.in Thursday, May 22, 2025 - 01:22 PM (IST)

Noida News: नोएडा में नाबालिग से बलात्कार के दोषी 80 वर्षीय चित्रकार को अदालत ने 20 साल कारावास की सजा सुनाई है और उस पर जुर्माना भी लगाया है। पुलिस ने यह जानकारी दी। पुलिस के प्रवक्ता ने बताया कि जिला एवं सत्र न्यायालय, गौतमबुद्ध नगर में अतिरिक्त सत्र एवं विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो अधिनियम) प्रथम की अदालत ने नाबालिग से बलात्कार के मामले में बुधवार को आरोपी मोरिस राइडर को दोषी करार दिया। अदालत ने दोषी को 20 साल के कारावास की सजा सुनाई, साथ ही 50 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है। जुर्माना नहीं देने की स्थिति में दोषी को एक साल और कारावास की सजा भुगतनी होगी।
उन्होंने बताया कि 2 अन्य धाराओं में उस पर 7 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है। शासकीय अधिवक्ता ने बताया कि चित्रकार नोएडा के सेक्टर 46 में रहता था और वर्तमान में उसकी उम्र 80 वर्ष है। उन्होंने बताया कि वर्ष 2015 में जब पहली बार पीड़िता से दुष्कर्म किया गया तो उसकी उम्र 13 वर्ष थी। आरोप है कि चित्रकार ने पीड़िता को नोएडा में अपने घर में बंधक बनाकर रखा और वर्ष 2015 से 2022 तक पीड़िता का पहले ‘डिजिटल रेप' (यौन अंगों से छेड़छाड़) और फिर बलात्कार किया। दोषी पर पीड़िता को हथियार का भय दिखाकर डराने धमकाने का भी आरोप है। उन्होंने बताया कि अदालत में पीड़ित पक्ष की तरफ से सात गवाह पेश किए गए। पीड़िता का बयान और फोन पर चित्रकार की अश्लील बातों की रिकॉर्डिंग सजा दिलाने में अहम साबित हुई।
अधिवक्ता ने बताया कि पीड़िता ने 14 मई, 2022 को नोएडा के कोतवाली सेक्टर-39 में राइडर के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई थी। उन्होंने बताया कि चित्रकार का शिमला में स्टूडियो था, जहां पीड़िता के पिता नौकरी करते थे। पीड़िता के पिता ने उसे पढ़ाने के लिए चित्रकार के पास नोएडा भेज दिया। उन्होंने कहा कि पीड़िता ने डर के कारण किसी से कुछ नहीं कहा और करीब 7 साल तक चित्रकार ने लड़की का यौन शोषण किया। पीड़िता की बड़ी बहन जब अपने पति के साथ 13 मई, 2022 को उससे मिलने पहुंची तो उसने अपनी आपबीती बताई। उसके बाद बहन के साथ कोतवाली जाकर उसने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई और आरोपी का घर छोड़कर शिमला वापस चली गई। पुलिस ने यौन अपराध से बच्चों का संरक्षण (पॉक्सो) अधिनियम और संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया और आरोपी को गिरफ्तार कर लिया। इस मामले में जुलाई 2022 में अदालत में आरोप पत्र दाखिल किया गया।