अशोक विजय दशमी के अवसर पर मिर्जापुर में निकाली गई धम्म यात्रा, मुख्य अतिथि के रूप में शामिल हुई विधायक रिंकी कोल
punjabkesari.in Sunday, Oct 13, 2024 - 01:39 PM (IST)
मिर्जापुर (बृजलाल मौर्य): यूपी के मिर्जापुर में लालगंज क्षेत्र के बेलाही गांव में बौद्ध महोत्सव का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम के मुख्य अतिथि विधायक रिंकी कोल के रूप में शामिल हुई। अतिथि विधायक कार्यक्रम में पहुंचकर भगवान बुद्ध की प्रतिमा पर फूल माला अर्पित की। उसके बाद धम्म यात्रा निकालकर बेलाही से होते हुए पटेल नगर चौराहा लहंगपुर बाजार होते हुए धसड़ा मोड़ होते हुए राजापुर होते हुए बेलाही पंचशील कार्यक्रम स्थल समाप्त हुआ । इस अवसर पर महोत्सव में आए जनता को भंते बुद्ध ज्योति ने धम्म देशना देकर उन्हें भी कृतार्थ किए।
उन्होंने कहा कि अशोक विजय दशमी सम्राट अशोक के कलिंग युद्ध में विजयी होने के दसवें दिन तक मनाये जाने के कारण इसे अशोक विजयादशमी कहते हैं। इसी दिन सम्राट अशोक ने बौद्ध धम्म की दीक्षा ली थी। ऐतिहासिक सत्यता है कि महाराजा अशोक ने कलिंग युद्ध के बाद हिंसा का मार्ग त्याग कर बौद्ध धम्म अपनाने की घोषणा कर दी थी। बौद्ध बन जाने पर वह बौद्ध स्थलों की यात्राओं पर गए। तथागत गौतम बुद्ध के जीवन को चरितार्थ करने तथा अपने जीवन को कृतार्थ करने के निमित्त हजारों स्तंभों शिलालेखों व धम्म स्तम्भों का निर्माण कराया।
सम्राट अशोक के इस धार्मिक परिवर्तन से खुश होकर देश की जनता ने उन सभी स्मारकों को सजाया और संवारा तथा उस पर दीपोत्सव किया । यह आयोजन हर्षोल्लास के साथ दस दिनों तक चलता रहा, दसवें दिन महाराजा ने राज परिवार के साथ पूज्य भंते मोग्गिलिपुत्त तिष्य से धम्म दीक्षा ग्रहण की था। धम्म दीक्षा के उपरांत महाराजा ने प्रतिज्ञा की थी, कि आज के बाद मैं शास्त्रों से नहीं बल्कि शांति और अहिंसा से प्राणी मात्र के दिलों पर विजय प्राप्त करूँगा।
इसीलिए सम्पूर्ण बौद्ध जगत इसे अशोक विजय दशमी के रूप में मनाता है। और इस अवसर पर कार्यक्रम में शामिल जिला होमगार्ड कमांडेंट बीके सिंह, लोग गाय का संजू सिंह, मीरजापुर स्टेशन अधीक्षक रविंद्र जी, संबोधन कुशवाहा, राजमणि मौर्य, संजय मौर्य, डॉ वरुण मौर्य, धर्मेंद्र मौर्य, सुरेन्द्र मौर्य डॉ शिवजोर पाल और काफी संख्या में लोग रहे उपस्थित रहे।