जिस तरह ED का डर दिखाकर नेताओं को लूटा जा रहा उसी तरह बिजली के बहाने किसानों कोः राकेश टिकैत

punjabkesari.in Monday, Sep 18, 2023 - 10:15 PM (IST)

लखनऊः भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने सोमवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अगर गांव, गरीब और किसान की बात करते हैं, तो संसद के नये भवन से की जाने वाली पहली घोषणा एमएसपी (न्यूनतम समर्थन मूल्य) गारंटी पर नये कानून की होनी चाहिए।

सरकार को अपना 'घोषणा पत्र' लागू करना चाहिए
यहां आयोजित एक दिवसीय किसान महापंचायत से इतर राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार को अपना 'घोषणा पत्र' (चुनावी घोषणा पत्र) लागू करना चाहिए। उन्होंने कहा कि अगर प्रधानमंत्री गांव, गरीब और किसान की बात करते हैं तो एमएसपी गारंटी पर एक कानून (बनाना) संसद के नए भवन से की जाने वाली पहली घोषणा होनी चाहिए। टिकैत का यह बयान इसलिए भी महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि प्रधानमंत्री ने सोमवार को कहा कि आज से आरंभ हो रहा संसद का सत्र छोटा है लेकिन समय के हिसाब से ‘बहुत बड़ा', ‘मूल्यवान' और ‘ऐतिहासिक निर्णयों' का है। पांच दिवसीय सत्र से पहले अपनी टिप्पणी में मोदी ने कहा कि संसद मंगलवार को नई इमारत में चली जाएगी।

Rakesh Tikait

ED का डर दिखाकर नेताओं को लूटा जा रहा
टिकैत ने यह भी कहा, "जिस तरह से ईडी (प्रवर्तन निदेशालय) का डर दिखाकर नेताओं को लूटा जा रहा है, उसी तरह बिजली के बहाने किसानों को लूटा जा रहा है।'' टिकैत ने कहा, ‘‘हम यहां अपनी बात रखने आये हैं, उत्तर प्रदेश सरकार ने अपने घोषणा पत्र में कहा कि हम सत्ता में आयेंगे तो मुफ्त बिजली देंगे, फिर उसने (सरकार ने) कहा कि एक साल के लिए मुफ्त बिजली देंगे लेकिन ऐसा नहीं हुआ।'' उत्तर प्रदेश सरकार पर निशाना साधते हुए टिकैत ने कहा, ‘‘ राज्य सरकार ने किसानों से किये गये वादों को भी पूरा नहीं किया है। हम यह लड़ाई अंतिम सांस तक जारी रखेंगे।''

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लोकतंत्र में भीड़तंत्र ही उसकी समस्या का समाधान
टिकैत ने किसान महापंचायत का समर्थन करते हुए कहा कि लोकतंत्र में भीड़तंत्र ही उसकी समस्या का समाधान है। अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव में भाकियू के राजनीतिक रुख को लेकर पूछे गये सवाल के जवाब में टिकैत ने कहा कि यह तो समय बताएगा। उन्होंने कहा कि आज की महापंचायत में जो मुद्दे उठाए गए हैं उनमें किसानों की समस्याएं जैसे गन्ना मूल्य का भुगतान न होना, आलू उगाने वाले किसानों की समस्याएं शामिल हैं, क्योंकि कुछ किसान तो बाजार में प्रचलित कीमत से भी आधी कीमत पर अपनी उपज बेचने को मजबूर हैं। में रहें और सुरक्षित रहें।


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Content Writer

Ajay kumar

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