योगी सरकार ने लिया फैसला, किसानों को ऋण देनी वाली समितियां होंगी कंप्यूटराइज्ड, किसानों का होगा फायदा

punjabkesari.in Wednesday, Aug 17, 2022 - 11:32 AM (IST)

लखनऊ: योगी सरकार ने दूसरे कार्यालय में 100 दिन पूरे करने के बाद दूसरे 100 पूरे करने की ओर कदम बढ़ाया है। योगी सरकार ने कल कैबिनेट बैठक में कृषि ऋण सहकारी समितियों को कंप्यूटरीकृत करने का निर्णय लिया है। सीएम योगी की अध्यक्षता में कैबिनेट ने इस पर मुहर लगा दी है।

बता दें कि किसानों को ऋण देने वाली 7479 कृषि ऋण सहकारी समितियों यानी पैक्स का कंप्यूटरीकरण होगा। केंद्र सरकार की महत्वाकांक्षी योजना को प्रदेश में चरणबद्ध तरीके से लागू किया जाएगा।  इसमें 60 प्रतिशत धन केंद्र सरकार व 40 प्रतिशत खर्च राज्य सरकार वहन करेगी। अहम परियोजना का कार्यान्वयन और निगरानी करने के लिए राज्य स्तर पर सहकारिता विभाग के अपर मुख्य सचिव की अध्यक्षता में व जिला स्तर पर जिलाधिकारी की अध्यक्षता में समिति का गठन किया जाएगा।

राज्य सरकार के प्रवक्ता ने बताया कि सरकार ने कृषि ऋण सहकारी समितियों यानी पैक्स का चरणबद्ध तरीके से कंप्यूटरीकरण करने का निर्णय लिया है। इसके तहत पहले साल में 2022- 23 में 1500 पैक्स, 2023-24 में 2900 पैक्स और तीसरे साल 2024-25 में 3000 से अधिक पैक्स का कंप्यूटराइजेशन किया जाएगा। समितियों को चरणबद्ध तरीके से जिला सहकारी बैंक, उत्तर प्रदेश कोआपरेटिव बैंक आदि से जोड़ा जाएगा। इससे किसानों को ऋण देने के अलावा खाद आदि की बिक्री में पारदर्शिता रहेगी।

योजना के तहत सॉफ्टवेयर साइबर सुरक्षा डाटा स्टोरेज ट्रेनिंग और परियोजना निगरानी इकाई सपोर्ट सिस्टम पर होने वाला खर्च केंद्र सरकार और नाबार्ड की ओर से खर्च किया जाएगा। केंद्र सरकार कामन सॉफ्टवेयर से सभी को जोड़ेगी। हर बीस समितियों पर नाबार्ड एक कर्मचारी की तैनाती करेगा जो पूरे कार्य की देखरेख करेगा। यह परियोजना 31 मार्च 2027 तक काम करेगी। पहले व दूसरे चरण में उन समितियों का कंप्यूटराइजेशन हो रहा है जिनका इस वर्ष तक आडिट हो चुका है। ज्ञात हो कि मुजफ्फरनगर व लखीमपुर खीरी सहित कुछ जिलों में चल रहे पैक्स में पहले ही कंप्यूटर लगाया जा चुका है।


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Content Writer

Tamanna Bhardwaj

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