बुलंदशहर: बच्चें करें गुहार, एक बार फिर स्वेटर का इंतजार

punjabkesari.in Monday, Dec 02, 2019 - 01:59 PM (IST)

बुलंदशहर: ठंड ने दस्तक दे दी है। अब लगातार बढ़ने वाली सर्दी नौनिहालों को सताने लगी है। शायद इसी को लेकर शासन ने परिषदीय स्कूलों में पढ़ रहे गरीब परिवारों के नौनिहालों को ठंड से बचाने के इंतजाम 2 माह पहले शुरू कर दिए थे। मगर क्या बच्चों को समय पर स्वेटर मिल पाए? बुलंदशहर में इसका रियल्टी चेक हमारी टीम ने किया है।

देखिए रिपोर्ट-
शासन द्वारा यूपी के सरकारी विद्यालयों में पढ़ने वाले सभी बच्चों को 31 अक्टूबर तक शत-प्रतिशत स्वेटर वितरण करने के निर्देश दिए गए थे। जबकि जैम पोर्टल के माध्यम से स्वेटर का टेंडर लेने वाली कंपनियों को निर्धारित समय के बाद स्वेटर देने पर कार्रवाई की भी चेतावनी दी गई थी। मगर क्या कंपनियां नौनिहालों के स्वेटर समय पर दे पायीं? क्या अब सुबह की सर्दी में विद्यालय जाने वाले मासूम गर्म कपड़े पहन कर घर से निकल रहे हैं? क्या सर्द हवा से बचने के लिए नौनिहाल स्वेटर का इस्तेमाल कर पा रहे हैं?

इसका रियल्टी चेक करने के लिए हमारी टीम बुलंदशहर के अलग-अलग इलाकों में स्थित प्राथमिक विद्यालयों में पहुंची। वहीं रियल्टी चेक में सामने आया कि नवंबर के आखिरी सप्ताह यानि अभी तक भी अमूमन प्राथमिक विद्यालयों में पढ़ने वाले मासूम छात्र-छात्राऐं सर्दी का सितम झेलने को मजबूर हैं। यहां अभी तक भी स्वेटर वितरण नहीं किए जा सके हैं। बता दें कि जनपद बुलंदशहर में लगभग 2500 प्राथमिक विद्यालय हैं, जिनमें पढ़ने वाले लगभग 2 लाख 22 हज़ार बच्चों को स्वेटर वितरण किए जाने थे। नौनिहालों के लिए स्वेटर तैयार करने का टेंडर अमन इन्ड्रस्टीज गोरखपुर नाम की कंपनी ने लिया था। अभी तक ये कंपनी सिर्फ 21 हज़ार कुछ स्वेटर ही बेसिक शिक्षा विभाग को सौंप पाई है।

अध्यापक ने बताया कि करीब एक माह से ज्यादा समय बीत जाने के बाद भी अभी तक नौनिहालों तक गर्म स्वेटर नहीं पहुंच सके। जबकि ठंड के इस मौसम में पढ़ाई करते मासूमों को ठंडी हवा के झोंके क्लास रूम के अंदर तक घुंसकर सताने लगे हैं।

ज़िला बेसिक शिक्षा अधिकारी अखण्ड प्रताप सिंह भी मानते हैं कि बुलंदशहर में बच्चों के स्वेटर वितरण में देरी हुई है। साथ ही बेसिक शिक्षा अधिकारी 30 नवंबर तक सभी विद्यालयों में स्वेटर वितरण कराने का दंभ भर रहे थे।

इधर नौनिहाल सर्दी का सितम झेलने को मजबूर हैं और उधर बेसिक शिक्षा विभाग आने वाले दो तीन दिन में स्वेटर पहुंचाने का दावा कर रहा है। मगर सवाल ये कि जनपद में 25 सौ विद्यालयों में पढ़ने वाले 2 लाख 22 हज़ार मासूम बच्चों में से अब तक सिर्फ 21 हज़ार बच्चों को ही स्वेटर मिल सके हैं।

 


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Ajay kumar

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