आर्थिक तंगी से जूझ रहे किसान ने लगाई फांसी, परिजनों का रो रो कर बुरा हाल
punjabkesari.in Saturday, Sep 26, 2020 - 04:36 PM (IST)
कन्नौज: यूपी के कन्नौज जिले में आर्थिक तंगी से परेशान 55 वर्षीय किसान राम अवतार ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। बताया जा रहा है कि मृतक किसान कुछ दिन पूर्व राजस्थान से कुछ कमाकर लौटा था। उसी कमाई से उसने अपने खेत मे बोरिंग लगवाई लेकिन दुर्भाग्यवश उसकी बोरिंग धंस गयी। जिससे उसका बड़ा नुकसान हो गया। कमाए पैसे सब बोरिंग में कराने में खर्च हो गए। खेत में फसल भी बर्बाद हो गयी। इसी तनाव में आकर किसान ने अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली। किसान द्वारा आत्महत्या किये जाने की खबर से जिला प्रशासन में हड़कंप मच गया। सूचना के बाद मृतक किसान के घर पहुंचे नायाब तहसीलदार ने किसान की आर्थिक स्थित व मौत के कारणों की जांच शुरू कर दी है।
घटना इंदरगढ़ थाना क्षेत्र के ग्राम उधमपुर पुर के मजरा टुंड पुरा गांव की है। यहां के निवासी किसान राम अवतार ने अपने जीवन से परेशान होकर खेत में खड़े पेड़ पर फांसी का फंदा डालकर अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली। किसान के बेटे ने आत्महत्या की वजह आर्थिक तंगी बताई है। सुबह गांव के कुछ किसान अपने खेतों की तरफ गए तो देखा की किसान राम अवतार अपने ही खेत के पेड़ पर लटका था। इसकी सूचना उनके स्वजनों को दी गई। सूचना मिलते ही घर में कोहराम मच गया। परिजनों का रो रो कर बुरा हाल है। मृतक के दो पुत्रियां और दो पुत्र हैं। इसमें से बड़ा पुत्र जिसकी शादी कर दी थी वह अपने माता-पिता से अलग रहता है बाकी तीन लोग नाबालिग हैं। परिवार पर रोजी रोटी का गहरा संकट हो चला था।
मौत के कारणों की चल रही है जांच: अपर जिलाधिकारी
अपर जिलाधिकारी गजेंद्र कुमार ने बताया कि सूचना मिली थी कि किसी किसान ने आत्म हत्या कर ली। घटना की जांच के लिये तिर्वा उपजिलाधिकारी को निर्देशित किया गया उनकी जांच में बताया गया कि किसान के पास 5 बीघा खेत है उसमें धान खड़े हैं। उसका रॉशन कार्ड भी बना हुआ है। आर्थिक तंगी वाली बात सामने नहीं आई फिर भी मौत के कारणों की जांच की जा रही है।
आर्थिक स्थिति से परेशान चल रहा था किसान: नायाब तहसीलदार
घटना स्थल पर जांच कर रहे नायब तहसीलदार मोहित लाल वर्मा ने बताया कि मृतक किसान के बेटे ने बताया कि पिता जी आर्थिक स्थिति से परेशान थे। वह बाहर नौकरी कर कुछ पैसा कमाया था जो खेत में बोरिंग में लगा दिया और बोरिंग भी फेल हो गई। यह सबकुछ किसान बर्दास्त नहीं कर पाए और आत्महत्या कर ली।