महंत नरेंद्र गिरी मौत मामला: शक के घेरे में Y श्रेणी के 11 सुरक्षाकर्मी, फांसी लगाते वक्त कहां थे जवान?

punjabkesari.in Thursday, Sep 23, 2021 - 04:31 PM (IST)

प्रयागराज: अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद ( Akhil Bharatiya Akhara Parishad ) के महंत नरेंद्र गिरी ( Mahant Narendra Giri ) की मौत हत्या थी या आत्महत्या, यह अभी भी अनसुलझी पहेली बनी हुई है। महंत की मौत के मामले में कई लोग शक के घेरे में आ रहे हैं। इसी क्रम में महंत की सुरक्षा में लगाए गए वाई श्रेणी के 11 पुलिसकर्मियों पर भी सवाल खड़े किए जा रहे हैं। जिसके चलते महंत की सुरक्षा में लगे सभी पुलिसकर्मियों को तत्काल प्रभाव से हटा दिया गया है। साथ ही उनके खिलाफ जांच भी शुरू कर दी गई है। बताया जा रहा है कि अगर पुलिसकर्मियों की लापरवाही सामने आती है तो उन्हें निलंबित किया जा सकता है।
PunjabKesari
फांसी लगाते वक्त कहां थे  11 सुरक्षाकर्मी?
बता दें कि 11 सुरक्षाकर्मी 24 घंटे नरेंद्र गिरि की सुरक्षा में तैनात रहते थे, लेकिन सवाल ये है कि फांसी लगाते वक्त वो कहां थे। महंत की सुरक्षा में तैनात 4 सुरक्षाकर्मियों से पूछताछ की जा रही है। बताया जा रहा है कि अन्य सुरक्षाकर्मियों से भी पूछताछ की जा सकती है। सुरक्षाकर्मियों पर सवाल खड़े होने का मुख्य कारण है कि एस्कॉर्ट में से कुछ जवानों की तैनाती आश्रम के अंदर भी होती है, लेकिन घटना के वक्त ये सुरक्षाकर्मी कहां थे, ये बड़ा सवाल उठ रहा है।
PunjabKesari
महंत नरेंद्र गिरि मिली हुई थी वाई प्लस श्रेणी की सुरक्षा
इस बारे में पुलिस अधिकारियों का कहना है कि नरेंद्र गिरि को वाई प्लस श्रेणी की सुरक्षा मिली हुई थी। इसमें पीएसओ, हेड कांस्टेबल और कांस्टेबल समेत कुल 11 जवानों की टीम होती है। इस श्रेणी की सुरक्षा वीआईपी को दी जाती है। महंत की सुरक्षा के लिए एक-एक सिपाही की आठ-आठ घंटे की तीन शिफ्ट में ड्यूटी थी। कहा जा रहा है कि नियमानुसार वीआईपी के आराम करने अथवा सोने दौरान भी उनके कमरे के बाहर एक सुरक्षा गार्ड की तैनाती होनी चाहिए। हालांकि जब नरेंद्र गिरि ने कथित तौर पर आत्महत्या की,तब वहां कोई सिपाही मौजूद नहीं था। जांच में पता चला कि महंत आराम करने के दौरान सुरक्षा गार्ड को शयन कक्ष के पास से हटा देते थे लेकिन जिस पुलिसकर्मी की ड्यूटी थी, उसे ऐसा नहीं करना चाहिए था।
PunjabKesari
महंत के गनर अजय सिंह और मनीष शुक्ला ने की हत्या- शिष्य आनंद गिरी
सुसाइड नोट में महंत द्वारा लगाए गए आरोपों के चलते शिष्य आनंद गिरी सहित 3 को गिरफ्तार कर लिया गया है। पूछताछ में आनंद गिरी ने महंत के गनर अजय सिंह और मनीष शुक्ला पर हत्या करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि गुरु जी आत्महत्या नहीं कर सकते हैं। किसी ने उनकी हत्या की है, लेकिन उन्हें फंसाया जा रहा है। आनंद गिरी ने कहा कि गनर मनीष शुक्ला को हत्या का साजिशकर्ता बताते हुए कहा कि मनीष को घर बनाने का लिए गुरु जी ने 7 करोड़ रुपए दिए थे।
PunjabKesari
महंत की मौत मामले में CBI को मिली जांच की मंजूरी
वहीं मामले की सच्चाई को उजागर करने के लिए योगी सरकार ने सीबीआई (CBI ) जांच की सिफारिश की। कई विपक्षी दलों के नेताओं ने भी सीबीआई जांच की मांग की। राज्य सरकार की सिफारिश पर केंद्रीय जांच ब्यूरो  (CBI) जांच की मंजूरी मिल गई है। इस मामले में  केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) के 5 अधिकारी प्रयागराज पहुंच गए हैं। CBI जांच से पहले इस मामले में केस दर्ज कर कार्रवाई शुरू करेगी।
PunjabKesari
20 सितंबर को कमरे में मिला नरेंद्र गिरि का शव, सुसाइड नोट भी बरामद
बता दें कि सोमवार शाम लगभग 5:30 बजे संदिग्ध परिस्थितियों में महंत नरेंद्र गिरी की मौत हो गई थी। वहीं मौके पर 11 पन्नों का सुसाइड नोट भी बरामद किया गया है। जिसमें उन्होंने आनंद गिरि, आद्या प्रसाद तिवारी और उनके बेटे संदीप को अपनी मौत का जिम्मेदार ठहराया है।
PunjabKesari


सबसे ज्यादा पढ़े गए

Content Writer

Tamanna Bhardwaj

Recommended News

Related News

static