इटावा: सब्सिडी खत्म होने से संकट में हथकरघा उद्योग, बुनकरों ने कामकाज बंद कर जताई नाराजगी

punjabkesari.in Friday, Apr 01, 2022 - 08:11 PM (IST)

इटावा: उत्तर प्रदेश सरकार की महत्वाकांक्षी एक जिला एक उत्पाद (ओडीओपी) परियोजना में शामिल इटावा के हथकरघा उद्योग को पावर कारपोरेशन ने सब्सिडी खत्म करके बड़ा झटका दिया है और अब यह बंदी की कगार पर पहुंच गया है। सब्सिडी खत्म होने से करीब तीन साल ओडीओपी में शामिल हथकरघा कारोबार पटरी से उतर चुका है और इसके ठप होने का अंदेशा जताया जाने लगा है। सब्सिडी खत्म होने से नाराज अधिकतर बुनकरों ने कामकाज बंद कर दिया है। पहले बुनकरो को 72 रूपये प्रति कनेक्शन के हिसाब से भुगतान करना होता था जो अब तीन रूपये 50 पैसे प्रति यूनिट के हिसाब से करने का प्राविधान कर दिया गया है।      

प्रदेश मे बुनकरो को 2006 से बिजली के बिल में रियायत मिलनी शुरू हुयी थी जिसे 2020 में पावर कारपोरेशन ने समाप्त कर रीडिंग के हिसाब से बिल दिये जाने के आदेश दिया जिससे बुनकरो की नींद उड़ी हुई है। उनके सामने रोजीरोटी का संकट आ खड़ा हुआ है। पिछले 14 सालों तक मात्र 72 रुपये बिजली का बिल चुकाने वाले बुनकरों को अब मीटर रीडिंग के हिसाब से भुगतान करना पड़ेगा। बुनकरों ने बिजलीं विभाग के अधिशासी अभियंता से मिलकर अपनी नाराजगी जताई है मगर उन्हे राहत मिलने के आसार बेहद कम हैं क्योंकि सब्सिडी खत्म करने का आदेश साल 2020 मे ही जारी कर दिया है।       

सब्सिडी खत्म होने से इटावा के 2000 पावरलूम बंद होने के कगार पर हैं जिसके चलते 50 हजार के आसपास बुनकरो के सामने रोजी रोटी का संकट खड़ा होने का खतरा पैदा गया है। बुनकरो ने पावर कारपोरेशन के खिलाफ तीन रुपये 50 पैसे प्रति यूनिट की दर से लगने वाले बिल को लेकर काम बंद कर हड़ताल शुरू कर दी है । बुनकरों की मांग है कि 72 रुपए प्रति लूम के फ्लैट रेट पर बिजली मिले । इटावा के बुनकरो ने अपने अपने पावर लूम पूरी तरह से बंद कर शहर के बाह अड्डा पर धरना शुरू कर दिया है। उनकी शिकायत है कि बुनकरो से बिजली विभाग मनमानी बिल की वसूली कर रहा है। धोखाधड़ी करके पावर लूम के लिए मीटर लगाए गए और कहा गया था कि बुनकरो से फ्लैट रेट का ही बिल लिया जाएगा लेकिन पावर कारपोरेशन अब साढ़े तीन रुपए प्रति यूनिट की दर से वसूली करने मे जुट गया है। बुनकरो का कहना है कि उनको पूर्व की तरह 70 रुपए प्रति यूनिट फ्लैट रेट पर ही विद्युत सप्लाई दी जाए। यदि उनकी मांगे नहीं मानी गई तो वे लोग निरंतर हड़ताल पर रहेंगे और काम नहीं करेंगे।       

बुनकर शारिक अंसारी का कहना है कि बुनकरों को फ्लैट रेट पर बिजली मिलती थी । अब पावर कारपोरेशन अपनी मनमानी करके धोखाधड़ी के बाद रीडिंग से बिल मांग रहे हैं इसीलिए सभी बुनकर मिलकर धरने पर बैठे हुए हैं । बुनकरों को पहले फ्लैट रेट पर बिजली दी जाती थी उसी फ्लैट रेट पर बिजली दी जाए । पहले 72 रुपए प्रति लूम विद्युत बिल लगता था लेकिन अब साढ़े तीन रुपए प्रति यूनिट की दर से मांगा जा रहा है । प्रतिलूम के हिसाब से अब पांच हजार रुपए बिल आएगा। अगर पावर कारपोरेशन उनकी मांगे नहीं मानेगा तो बुनकर भूख हड़ताल पर भी बैठ सकते है ।


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Content Writer

Mamta Yadav

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