प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक का मास्टरमाइंड गिरफ्तार, पुलिस भीर्ती पेपर लीक में था आरोपी
punjabkesari.in Wednesday, Apr 10, 2024 - 01:55 PM (IST)
लखनऊ: उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती पेपर लीक मामले में हर दिन यूपीएसटीएफ नए नए खुलासे कर रही है। भारत में प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक के टॉप मास्टरमाइंड को यूपी एसटीएफ ने गिरफ्तार कर लिया है। बताया जा रहा है कि उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती पेपर लीक मामले में भी इसका हाथ था। एसटीएफ के सूत्रों ने बताया कि बल ने गौतम बुद्ध नगर के जेवर इलाके में खुर्जा बस अड्डे के पास रवि अत्री नामक व्यक्ति को गिरफ्तार किया। उसे उत्तर प्रदेश पुलिस आरक्षी भर्ती परीक्षा-2023 के प्रश्न पत्रों को अहमदाबाद स्थित टीसीआई कंपनी के दफ्तर में रखे ट्रंक बॉक्स से निकालकर उन्हें सार्वजनिक करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है।
मास्टरमाइंड को एसटीएफ की टीम ने किया गिरफ्तार
सरकार ने पिछले साल हुई पुलिस आरक्षी भर्ती परीक्षा का प्रश्न पत्र लीक होने के बाद इन परीक्षाओं को निरस्त कर पूरे मामले की जांच एसटीएफ को सौंपी थी। इस मामले में वाराणसी, झांसी, आगरा, कानपुर, बरेली, प्रयागराज, गोरखपुर, नोएडा और बलिया समेत विभिन्न जिलों में अलग-अलग तारीखों पर कुल 12 मुकदमे दर्ज किए गए थे और कई लोगों की गिरफ्तारी भी की गई थी। सूत्रों ने बताया कि एसटीएफ की मेरठ टीम को जानकारी मिली थी कि पेपर लीक करने वाले गिरोह का सरगना रवि अत्री जेवर स्थित खुर्जा बस स्टैंड के पास आने वाला है। इस पर एसटीएफ की टीम ने मुस्तैदी दिखाते हुए मौके पर पहुंचकर अत्री को गिरफ्तार कर लिया।
पेपर बनाने वाली कंपनी में नौकरी करने वाले से किया था साठगांठ
सूत्रों के मुताबिक, अत्री ने पूछताछ में एसटीएफ को बताया है कि अंकित मिश्रा नामक व्यक्ति ने प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लाने ले जाने वाली अहमदाबाद की कंपनी टीसीआई के कर्मचारी अभिषेक शुक्ला से उसकी फोन पर बात कराई थी। अभिषेक ने कंपनी में नौकरी करने वाले शिवम गिरि और रोहित कुमार से कंपनी में आने वाले पेपर की जानकारी देने को लेकर पहले से ही साठगांठ कर ली थी। सूत्रों के अनुसार, अत्री ने पूछताछ में बताया कि पिछली एक फरवरी को अभिषेक ने शिवम से कहकर पुलिस आरक्षी भर्ती परीक्षा के पेपर वाले ट्रंक बॉक्स की फोटो मंगवाई थी। उसके बाद अत्री पिछली पांच फरवरी की रात को बिहार के पटना निवासी शुभम मंडल को लेकर चुपके से कंपनी के दफ्तर पहुंचा, जहां शिवम गिरि और रोहित कुमार पहले से ही मौजूद थे।
आरओ/एआरओ परीक्षा का पेपर भी लीक करवाया
सूत्रों ने बताया कि मंडल ट्रंक बॉक्स खोलने का माहिर बताया जाता है। उसने बॉक्स को खोलकर पुलिस आरक्षी भर्ती परीक्षा के कोड-2 के पेपर निकाले और उनकी फोटो खींच ली। उसके बाद कई अलग-अलग कोड के पेपर निकाले गए, जिन्हें अनेक अभ्यर्थियों के साथ साझा किया गया। सूत्रों के मुताबिक, अत्री ने पूछताछ में यह भी बताया है कि उसने आरओ/एआरओ परीक्षा का पेपर भी लीक करवाया था।
2012 में एसबीआई पेपर लीक के पीछे भी इसका रहा हाथ
यूपीएसटीएफ ने बताया 2015 में रवि अत्री को एआईपीएमटी पेपर लीक मामले में हरियाणा पुलिस ने गिरफ्तार किया था। उस समय, अत्री रोहतक स्थित मेडिकल कॉलेज से एमबीबीएस की पढ़ाई कर रहे थे। जांच में तब खुलासा हुआ था कि 2011 में एम्स पेपर लीक और 2012 में एसबीआई पेपर लीक के पीछे भी उसका हाथ था।
एमबीबीएस की पढ़ाई छोड़ पेपर लीक का बना साजिशकर्ता
उन्हों ने बताया कि नोएडा के रहने वाले रवि अत्री ने अपने करियर की शुरुआत एक सामान्य छात्र के रूप में की। उन्होंने राजस्थान के कोटा में 5 साल तक तैयारी की और 2012 में हरियाणा पीएमटी में सफलता हासिल की। वह 2015 में एमबीबीएस की पढ़ाई कर रहे थे जब उन्हें पहली बार एआईपीएमटी पेपर लीक मामले में गिरफ्तार किया गया था। रवि ने 2018 में एमबीबीएस का तीसरा वर्ष पास किया और बाद में पढ़ाई छोड़ दी और देश में पेपर लीक का सबसे कुख्यात साजिशकर्ता बन गया।