मजबूरी का पर्याय सेक्स वर्कर्स को कब मिलेगा सम्मान, इंटरनेशनल सेक्स वर्कर डे पर खास रिपोर्ट
punjabkesari.in Tuesday, Jun 02, 2020 - 05:08 PM (IST)
वाराणसी: आज 2 जून को इंटरनेशनल सेक्स वर्कर डे के रूप में मनाया जाता है। जिससे इन सेक्स वर्करों को उनके अधिकार के प्रति जागरूक किया जा सके और इन्हें समाज मे सम्मान मिल सके।
कहीं न कहीं यौनकर्मियों को समाज में सम्मानजनक ज़िन्दगी जीने का अधिकार है। जहां ये सेक्स वर्कर मजबूरी या दबाव के वजह से इस कार्य को करते है और उन्हें समाज में हीनभावना का शिकार होना पड़ता है। मगर जिस तरह से इंटरनेशनल सेक्स वर्कर डे को यौनकर्मियों के अधिकार दिवस के रूप में मनाने की प्रक्रिया चालू हुई है उससे इन लोगों को भी समाज मे एक सम्मानजनक स्थान देता है। वहीं वाराणसी में जिस तरह से सेक्स वर्कर कार्य करते थे उन्हें उन क्षेत्रो से आज़ाद कराकर समाज से जोड़ने का कार्य करने वाली गुड़िया संस्था ने इन सेक्स वर्करों की आज़ादी में अहम भूमिका निभाई है। वहीं गुड़िया संस्था के अध्यक्ष अजित सिंह ने बात करते हुए कहा कि 2 जून को इंटरनेशनल सेक्स वर्कर डे रूप में मनाया जाता है और गुड़िया संस्था ने 30 वर्षो से इनके अधिकारों के लिए कार्य किया है। हम लोगों ने इन सेक्स वर्करों को इस कार्य से मुक्त कराया और उन्हें समाज में सुरक्षा और सम्मान दिलाया और यौन शोषण से मुक्ति दिलाई।
हम हाईकोर्ट, सुप्रीम कोर्ट के माध्यम से भी मदद को तत्पर रहते हैं। किसी भी कीमत पर ह्यूमन ट्रैफिकिंग, और जबरदस्ती महिलाओं बच्चों से वैश्यावृत्ति रोकना हमारा उद्देश्य है। दूसरी तरफ गुड़िया संस्था ने कोरोना वायरस के इस संकटकाल में फिर से इनके मजबूरी का कोई फायदा न उठाएं इसके लिए भी पूरी तरह से कार्य कर रही है और मानव तस्करी की फिर से शुरुआत न हो इस पर पूरी नज़र बनाएं हुए है। क्योंकि कोरोना वायरस की इस महामारी में हमे एक दूसरे से दूरी बनाए रखना है ऐसे में सेक्स वर्करों के लिए जीवनयापन करना काफी मुश्किल भरा हो रहा है। मगर वाराणसी में गुड़िया संस्था ने पहले चलने वाले रेड लाइट क्षेत्र, जो बन्द कराएं जा चुके है, उन क्षेत्रो में जाकर रहने वाले लोगों की हर संभव मदद की है।
केबीसी से मिले 40 लाख को भी सेक्स वर्कर्स को किया समर्पित
गुड़िया संस्थान के अध्यक्ष अजित सिंह 2019 में अमिताभ बच्चन के शो कौन बनेगा करोड़पति में विशेष आमंत्रित रहे जिसमे उन्होंने 15 लाख रु जीते। इसके अलावा उनके सामाजिक कार्य से प्रभावित होकर अमिताभ बच्चन ने अपने पास से 25 लाख की सहायता राशि प्रदान की जिसे गुड़िया संस्थान ने सेक्स वर्करों के और उनके बच्चों के शिक्षा में लगा रहे हैं। अजित ने बताया कि उनका और उनकी संस्था का उद्देश्य सिर्फ और सिर्फ इन्ही सेक्स वर्कर्स की ज़िंदगी को सही दिशा और दशा देना है।
गुड़िया देती है सेक्सवर्कर्स के बच्चों को उचित शिक्षा
गुड़िया संस्थान लगभग डेढ़ दशक से इन्ही सेक्स वर्कर्स के बच्चों को शिक्षित करने का भी कार्य करती है। दरअसल गुड़िया संस्थान ने नाबालिग सेक्स वर्कर्स को इस दलदल से मुक्त कराने का अभियान चलाया था जिसके बाद से कई बच्चों को अपने संस्थान के माध्यम से उन्हें शिक्षित करना शुरू कर दिया। इसमे 4 वर्ष से 18 वर्ष के बच्चे हैं। इसके साथ ही संस्थान ने इन बच्चों को स्कूलों से भी जोड़ा। सिर्फ शिक्षा ही नहीं कॉपी किताबों से लेकर उनके कपड़े और जीवन यापन की सभी जरूरी चीजें मुहैया कराई जाती हैं। इस समय संस्थान 110 बच्चों को शिक्षित करने का बीड़ा भी उठाए हुए है। संस्थान का प्रयास रहता है कि सेक्सवर्कर्स के बच्चे खुद को आम बच्चों से जुदा न समझें।